China-Pakistan Air Force Exercise: चीन और पाकिस्तान ने मिलकर एयर फोर्स एक्सरसाइज शुरू किया है. इस बात की जानकारी मंगलवार (5 सितंबर) को पाकिस्तान एयर फोर्स (PAF) ने दी. इस संयुक्त वार्षिक हवाई अभ्यास को शाहीन-एक्स नाम दिया गया है.


ये संयुक्त अभ्यास चीन के उत्तर-पश्चिमी में स्थित जिउक्वान और यिनचुआन शहर में शुरू हुआ है. इस युद्धाभ्यास में प्रमुख लड़ाकू विमान, जे-10 सी और जेएफ-17 को शामिल किया गया है, जिसमें वायु सेना सहित थल सेना भी भाग ले रही है.


आपको बता दें कि चीन और पाकिस्तान के बीच युद्धाभ्यास तभी शुरू किया जाता है, जब वो किसी तरह के फ्रंट वॉर की तैयारी करने के बारे में सोचते हैं. ये जगजाहिर भी है कि पाकिस्तान और चीन एक ही देश को अपना दुश्मन मानते हैं और वो कोई और नहीं भारत है. वे अक्सर भारत के सीमा से सटे इलाकों पर सैन्य अभ्यास करते नजर आते हैं. दोनों देशों की सीमाएं भी भारत से मिलती है, जिन पर अक्सर तनावपूर्ण स्थिति बनी रहती है.


साल 2011 से शाहीन संयुक्त अभ्यास का आयोजन 
चीनी और पाकिस्तानी एयर फोर्स साल 2011 से शाहीन संयुक्त अभ्यास का आयोजन कर रही हैं, जिसकी मेजबानी चीन और पाकिस्तान दोनों वैकल्पिक आधार पर करते हैं. इस अभ्यास का उद्देश्य क्षेत्र में रणनीतिक और समय-परीक्षित सहयोगियों के बीच हवाई युद्ध प्रथाओं, परिचालन तत्परता और तालमेल को बढ़ाना है.


पाकिस्तान एयर फोर्स (PAF) ने एक बयान में कहा, "यह अभ्यास भाग लेने वाले कुशल पायलटों और बहादुर कर्मियों के लिए व्यावहारिक युद्ध प्रशिक्षण की क्षमता को बढ़ाने के लिए है."


मॉर्डन वॉर टेक्निक समझने में मददगार
पाकिस्तान एयर फोर्स ने अपने बयान में कहा कि हम इस एयर फोर्स एक्सरसाइज में हाइब्रिड वॉर, साइबरस्पेस और कंप्यूटिंग जैसी सुविधाओं को शामिल करेंगे. इससे मॉर्डन वॉर टेक्निक के अनुसार डेवलपमेंट होगा, जिससे एयर फोर्स की प्रभावशीलता में बढ़ोतरी होगी. ये 10वां संयुक्त हवाई अभ्यास का नाम आयरन-ब्रदर्स देश के तर्ज पर शुरू किया गया है.


दोनों देशों का मानना है कि इस तरह के अभ्यास के मदद से  हवाई सीमाओं की सुरक्षा करने की उनकी क्षमता को और मजबूती मिलेगी. इसके अलावा ये एक व्यापक रक्षा रणनीति विकसित करने में मदद करेगा. ये दोनों देशों के बीच सौहार्द और एकता के बंधन को मजबूत करने के एक उल्लेखनीय प्रयास की शुरुआत करता है.


इंडियन एयरफोर्स का त्रिशूल युद्धाभ्यास
इंडियन एयरफोर्स ने भी 4 सितंबर से चीन-पाकिस्तान बॉर्डर पर युद्ध अभ्यास शुरू कर चुकी है, जिसका नाम त्रिशूल दिया गया है. ये 14 सितंबर तक चलेगा. त्रिशूल युद्धाभ्यास में फाइटर जेट, वॉर हेड हेलीकॉप्टर, लड़ाई के दौरान बीच हवा में फ्यूल रिफिल करने वाले प्लेन और अन्य तरह के पावरफुल एयर वेपन को शामिल किया गया है. इस युद्धाभ्यास चिनूक और अपाचे सहित हल्के इंटरसेप्टर तक शामिल हैं.


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