Investigation Order against Sara Netanyahu : इजरायल के प्रधानमंत्री बेंजामिन नेतन्याहू की पत्नी सारा नेतन्याहू के खिलाफ जांच के आदेश दिए गए हैं. इजरायल की अटॉर्नी जनरल गली बहारव-मियारा ने इजरायली पुलिस को जांच के आदेश दिए हैं. दरअसल, सारा नेतन्याहू के खिलाफ एक रिपोर्ट में विरोधियों और एक गवाह को परेशान करने और धमकाने का आरोप लगाया गया है. इजरायल की अटॉर्नी जनरल ने कहा, “उवडा शो के सबंस में गवाहों को परेशान करने और न्याय प्रक्रिया में बाधा डालने के संदेह की जांच की जानी चाहिए.” बता दें कि यह शो पिछले सप्ताह इजरायल के चैनल 12 टीवी पर प्रसारित हुआ था.
इजरायल की अटॉर्नी जनरल ने पुलिस को दिए जांच के आदेश
इजरायल की अटॉर्नी जनरल ने पुलिस को पीएम बेंजामिन नेतन्याहू की पत्नी सारा नेतन्याहू के खिलाफ जांच शुरू करने का आदेश दिया है. नेतन्याहू की पत्नी पर राजनीतिक विरोधियों और इजरायल नेता के भ्रष्टाचार के मामले में एक गवाह को परेशान करने का आरोप है. अटॉर्नी जनरल के मुताबिक, सारा नेतन्याहू के खिलाफ यह जांच ‘उवडा’ नामक खोजी कार्यक्रम के रिपोर्ट पर केंद्रित होगी.
क्या-क्या हुआ था टीवी चैनल के कार्यक्रम में?
इजरायल के चैनल 12 टीवी कार्यक्रम के दौरान व्हाट्सएप मैसेजों से खुलासा किया गया था. इसमें इजरायली पीएम की पत्नी सारा नेतन्याहू अपने एक पूर्व सहयोगी को राजनीतिक विरोधियों के खिलाफ विरोध प्रदर्शन आयोजित करने और मामले के एक प्रमुख गवाह हदास क्लेन को डराने के निर्देश देती नजर आई है. हालांकि, घोषणा में कहीं भी सारा का नाम नहीं लिया गया है और न्याय मंत्रालय ने इस मामले में आगे कोई भी टिप्पणी करने से इनकार कर दिया है.
चैनल की रिपोर्ट में सारा पर लगे गंभीर आरोप
इजरायल के चैनल 12 ने गुरुवार (26 दिसंबर) को एक रिपोर्ट जारी की. जिसमें दावा किया गया कि सारा नेतन्याहू ने अपने पति के खिलाफ चल रहे आपराधिक मामले में एक गवाह को धमकी दी है. वहीं, परोक्ष रूप से अटॉर्नी जनरल और डिप्टी अटॉर्नी को भी परेशान किया है.
प्रधानमंत्री बेंजामिन नेतन्याहू ने पत्नी का किया बचाव
वहीं, इजरायल के प्रधानमंत्री बेंजामिन नेतन्याहू ने अपनी पत्नी सारा नेतन्याहू का बचाव करते हुए एक वीडियो भाषण जारी किया था. इसमें उन्होंने चैनल 12 की रिपोर्ट को ‘पक्षपाती’ और झूठा प्रचार बताया. उन्होंने आगे कहा कि, “मैं चाहता हूं कि चैनल 12 या दूसरे भड़काऊ चैनल वामपंथी खेमे की भी जांच करें. लेकिन ऐसा होने की उम्मीद मत करो. ऐसा कभी नहीं होगा.” वहीं, इजरायल के न्याय मंत्री यारिव लेविन ने अटॉर्नी जनरल के इस आदेश की आलोचना की है.
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