India Sent Humanitarian Help To Gaza: इजरायल में घुसकर फिलिस्तीन के चरमपंथी संगठन हमास के गत 7 अक्टूबर के हमले के बाद इजरायली सैन्य बलों (आईडीएफ) के हमले गाजा पट्टी में लगातार जारी हैं. पिछले 44 दिनों से आईडीएफ के हमले से बदहाल हुए गाजा पट्टी के आम लोगों के लिए भारत ने मानवीय मदद की दूसरी खेप रविवार (19 नवंबर) को भेजी है. यह जानकारी विदेश मंत्री एस जयशंकर ने खुद दी है.


भारत ने भेजी 32 टन राहत सामग्री
 जयशंकर ने माइक्रो ब्लॉगिंग साइट एक्स (पूर्व में ट्विटर) पर लिखा, "हम फिलिस्तीन के लोगों को मानवीय सहायता प्रदान करना जारी रखे हुए हैं. विदेश मंत्री ने कहा, "32 टन राहत सामग्री लेकर भारतीय वायु सेना का दूसरा सी-17 विमान मिस्र के एल-अरिश हवाई अड्डे के लिए रवाना हुआ."


अल-अरिश हवाई अड्डा गाजा पट्टी के साथ मिस्र की सीमा पर राफा क्रॉसिंग से लगभग 45 किलोमीटर दूर है. राफा वर्तमान में गाजा में मानवीय सहायता के लिए एकमात्र क्रॉसिंग पॉइंट है. हालांकि इसे केवल राहत सामग्री के लिए खोला गया है.





भारत ने
अक्टूबर महीने में भेजी थी पहली खेप
इसके पहले इजरायल-हमास के बीच जारी जंग के बीच भारत ने गत 22 अक्टूबर को फिलिस्तीन को चिकित्सा और आपदा राहत सामग्री की पहली खेप भेजी थी. तब संयुक्त राष्ट्र में भारत‌ के उप स्थायी प्रतिनिधि (डीपीआर) राजदूत आर रवींद्र ने संयुक्त राष्ट्र सुरक्षा परिषद की खुली बहस में भारत का प्रतिनिधित्व करते हुए कहा था कि भारत ने इजरायल की जबरदस्त जवाबी बमबारी से जूझ रहे गाजा पट्टी में 38 टन भोजन और महत्वपूर्ण चिकित्सा उपकरण भेजे हैं.


उन्होंने कहा,"भारत ने फिलिस्तीन के लोगों को दवाइयों और उपकरणों सहित 38 टन जरूरत का सामान भेजा है. हम शांति बहाली के लिए आवश्यक स्थितियां बनाने और सीधी बातचीत को फिर से शुरू करने की दिशा में काम करने का भी आग्रह करते हैं.


पीएम मोदी ने जताई है आम लोगों पर हमले को लेकर चिंता
आपको बता दें कि 2 दिन पहले ही 17 नवंबर को दिल्ली स्थित भाजपा के मुख्यालय में मीडिया से मुखातिब पीएम मोदी ने गाजा पट्टी में इजरायली कार्रवाई के दौरान आम नागरिकों की जान जाने को लेकर चिंता जताई है. कॉलेटरल डैमेज को लेकर कड़ी निंदा करते हुए उन्होंने कहा कि गाजा पट्टी में सैन्य कार्रवाई में आम लोगों की मौत निंदनीय है.
अल जजीरा की रिपोर्ट की मानें तो गाजा पट्टी में अब तक सैन्य कार्रवाई के दौरान 11 हजार से अधिक लोगों की जान जा चुकी है. जबकि इजरायल में हमास के हमले के बाद करीब 1400 लोगों की मौत हुई है.


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