एक्सप्लोरर

Sharia law: जानें- 20 साल पहले कैसा था तालिबान का 'शरिया कानून', जब औरतों, अल्पसंख्यकों पर होती थीं बेहद कड़ी पाबंदियां

शरिया का शाब्दिक अर्थ 'पानी का एक स्पष्ट और व्यवस्थित रास्ता' है. शरिया कानून कोई लिखित कानून नहीं है, यह पैगंबर-ए-इस्लाम के बाद इस्लामिक कानूनविदों द्वारा परिभाषित कानून है.

नई दिल्ली: अमेरिका ने एलान कर दिया है कि उसने अफगानिस्तान से अपने सैनिक पूरी तरह से वापस बुला लिये हैं. भारतीय समय के मुताबिक देर रात करीब एक बजे काबुल एयरपोर्ट से आखिरी अमेरिकी विमान ने उड़ान भरी. इसी के साथ अमेरिका ने ये भी एलान कर दिया है कि अब उसका डिप्लोमेटिक मिशन भी काबुल में नहीं रहेगा, इसे कतर शिफ्ट कर दिया गया है. अफगानिस्तान से अमेरिका के जाने के बाद सबके जेहन में एक ही सवाल है कि कि अब अफगानिस्तान में क्या होने वाला है?

महिलाओं को लेकर तालिबान के दावे
तालिबान ने सत्ता में आने का बाद सबसे बड़ा एलान देश को शरिया कानून के हिसाब से चलाने का किया. तालिबान के प्रवक्ता जबीहुल्लाह मुज़ाहिद ने कहा, "हम अंतरराष्ट्रीय समुदाय के साथ कोई उलझन नहीं चाहते हैं. हमें हमारी धार्मिक मान्यताओं के अनुसार काम करने का अधिकार है. दूसरे देशों के अलग-अलग दृष्टिकोण, नियम और कानून हैं. हमारे मूल्यों के अनुसार, अफ़ग़ानों को अपने नियम और कानून तय करने का अधिकार है."

मुज़ाहिद ने कहा, "हम शरिया व्यवस्था के तहत महिलाओं के हक़ तय करने को प्रतिबद्ध हैं. महिलाएं हमारे साथ कंधे से कंधा मिलाकर काम करने जा रही हैं. हम अंतरराष्ट्रीय समुदाय को भरोसा दिलाना चाहते हैं कि उनके साथ कोई भेदभाव नहीं किया जाएगा."

क्या होता है शरिया कानून?
इस्लाम में शरिया कानून कोई लिखित कानून नहीं है. बल्कि पैगंबर-ए-इस्लाम के बाद इस्लामिक कानूनविदों द्वारा परिभाषित कानून है. इसलिए इस्लाम के मानने वाले अलग अलग संप्रदाय के लिए ये कानून अलग-अलग होते हैं. इसके अलावा एक ही संप्रदाय के इस्लामिक कानूनविदों में भी मतभेद होता है. इस्लामिक कानूनविद शरिया कानून के तहत इस्लाम के मानने वालों को जीवन जीने का रास्ता बताता है. इसके साथ ही इस्लाम मानने वाले सभी लोगों से इसके पालन की आशा की जाती है. 

वैसे अफगानिस्तान इस्लामिक कानूनविदों के चार बड़े स्कूल में से एक इमाम अबु हनीफा के मानने वाले हैं. इस तरह इन्हें हनफी मुसलमान कहा जाता है. ये दुनिया का अकेला देश है जहां सिर्फ इमाम अबु हनीफा के मामने वालों का ही कानून चलता है. जानकारी के लिए बता दें कि भारत, पाकिस्तान, बांग्लादेश और अफगानिस्तान में जो सुन्नी मुसलमान हैं, उनकी करीब करीब 95- 98 फीसदी आबादी इमाम अबु हनीफा को ही मानती है. 

अलग अलग स्कूल ऑफ थॉट्स को मानने के चलते अलग अलग देशों में शरिया कानून भी अलग अलग है. कुछ लोगों का मानना है कि इस्लाम में महिलाओं को सिर्फ पर्दा छोड़कर बाकी सब अधिकार दिए गए हैं. लेकिन पितृसत्तात्मक व्याख्या ने इसे पूरी तरह बदल कर रख दिया. 

शरिया का मतलब क्या है?
शरिया शब्द के शाब्दिक अर्थ की बात करें तो इसका मतलब होता 'पानी का एक स्पष्ट और व्यवस्थित रास्ता' है. शरिया कानून में अपराधों को दो अलग अलग कैटगरी में बांटा गया है, पहला है हद और तज़ीर. हद यानी इसके तहत गंभीर अपराध आते हैं और इनके लिए सजा पहले से तय है. वहीं तज़ीर में आने वाले अपराधों के लिए सजा और न्याय करने वाले शख्स पर छोड़ा गया है. शरिया कानून के तहत चोरी करना हद श्रेणि का अपराध और इसके लिए सजा के तौर पर हाथ तक काटे जा सकते हैं.

तालिबान के शासन में शरिया कानून में क्या क्या प्रावधान थे?
आज से 25 साल पहले 1996 में तालिबान ने पहली बार अफगानिस्तान पर कब्जा किया था. इस दौरान तालिबान ने पूरे देश में इस्लामी कानून शरिया को लागू कर दिया था.  इस कानून के मुताबिक महिलाओं के घर से बाहर निकलने पर पाबंदी और महिलाओं को पश्चिमी कपड़े पहनने की इजाजत नहीं देने जैसे कानून हैं. 

इसके साथ ही सजा के तौर पर पत्थर से मारने और सार्वजनिक तौर पर फांसी की सजा दी जाती थी. शरिया कानून के अनुसार यदि लड़की को मासिक धर्म शुरू हो चुका है तो कम उम्र की लड़की से विवाह मान्य है.

पुरूषों के लिए दाढ़ी रखना और महिलाओं के पूरे शरीर को ढकने वाला बुर्का पहनना जरूरी था. 10 साल से ज्यादा उम्र की लड़कियों के स्कूल जाने पर पाबंदी थी. शरिया में महिलाओं पर बेहद सख्ती की जाती थी, महिलाएं नौकरी नहीं कर सकती थीं. इसके साथ ही महिलाएं किसी पुरूष के साथ ही घर से बाहर निकल सकती थीं.  टीवी, फिल्म और संगीत पर पाबंदी थी. 

अल्पसंख्यकों पर भी पाबंदियां

अफगानिस्तान में तालिबान के पहले दौर में अल्पसंख्यक समुदायों पर भी बहुत ज्यादा पाबंदियां थीं. उन्हें सरकार और सेना में बिल्कुल भी प्रतिनिधिुत्व नहीं था. इसके साथ ही उन्हें पीले कपड़े पहनने के लिए कहा गया था. साथ ही घरों में झंडा लगाने का आदेश था, ताकि पहचान की जा सके कि ये किसी गैर मुसलमान का घर है. 

यह भी पढ़ें-
अमेरिका का बड़ा बयान- जो अफगान से निकलना चाहते हैं, उनके लिए कोई डेडलाइन नहीं, हम मदद करेंगे
संयुक्त राष्ट्र सुरक्षा परिषद ने अफगानिस्तान पर प्रस्ताव पारित किया, तालिबान को लेकर कही ये बात

और देखें
Advertisement
Advertisement
25°C
New Delhi
Rain: 100mm
Humidity: 97%
Wind: WNW 47km/h
Advertisement

टॉप हेडलाइंस

इमरजेंसी पर ओम बिरला के बयान से खफा राहुल गांधी, मुलाकात के बाद बोले- 'स्पीकर को ऐसा...'
इमरजेंसी पर ओम बिरला के बयान से खफा राहुल गांधी, मुलाकात के बाद बोले- 'स्पीकर को ऐसा...'
इस सीट पर हो गया बड़ा गेम, राहुल गांधी की कांग्रेस को मिला बड़ा तोहफा!
इस सीट पर हो गया बड़ा गेम, राहुल गांधी की कांग्रेस को मिला बड़ा तोहफा!
रद्द हो असदुद्दीन ओवैसी की संसद सदस्यता, नवनीत राणा ने राष्ट्रपति को लिखी चिट्ठी, क्या है विवाद?
रद्द हो असदुद्दीन ओवैसी की संसद सदस्यता, नवनीत राणा ने राष्ट्रपति को लिखी चिट्ठी, क्या है विवाद?
Healthy Food: घर पर बनाएं ये बिना तेल का स्वादिष्ट नाश्ता, सेहत के लिए भी है फायदेमंद
घर पर बनाएं ये बिना तेल का स्वादिष्ट नाश्ता, सेहत के लिए भी है फायदेमंद
Advertisement
ABP Premium

वीडियोज

Rahul Gandhi नेता प्रतिपक्ष बनते ही एक्शन में, Om Birla से मिलकर जताई इस बात पर नाराजगी, जानें क्योंMaharashtra News: विधानसभा सत्र के दौरान एक-साथ दिखे उद्धव ठाकरे और देवेंद्र फडणवीस | ABP News |'NEET-UG Paper Leak के आरोपी Ganga Dhar को उत्तराखंड पुलिस ने पकड़ा', पत्नी का बड़ा दावा | ABP NewsPM Modi ने राज्यसभा में अपने मंत्रियों का दिया परिचय | Parliament Session 2024

फोटो गैलरी

पर्सनल कार्नर

टॉप आर्टिकल्स
टॉप रील्स
इमरजेंसी पर ओम बिरला के बयान से खफा राहुल गांधी, मुलाकात के बाद बोले- 'स्पीकर को ऐसा...'
इमरजेंसी पर ओम बिरला के बयान से खफा राहुल गांधी, मुलाकात के बाद बोले- 'स्पीकर को ऐसा...'
इस सीट पर हो गया बड़ा गेम, राहुल गांधी की कांग्रेस को मिला बड़ा तोहफा!
इस सीट पर हो गया बड़ा गेम, राहुल गांधी की कांग्रेस को मिला बड़ा तोहफा!
रद्द हो असदुद्दीन ओवैसी की संसद सदस्यता, नवनीत राणा ने राष्ट्रपति को लिखी चिट्ठी, क्या है विवाद?
रद्द हो असदुद्दीन ओवैसी की संसद सदस्यता, नवनीत राणा ने राष्ट्रपति को लिखी चिट्ठी, क्या है विवाद?
Healthy Food: घर पर बनाएं ये बिना तेल का स्वादिष्ट नाश्ता, सेहत के लिए भी है फायदेमंद
घर पर बनाएं ये बिना तेल का स्वादिष्ट नाश्ता, सेहत के लिए भी है फायदेमंद
Warning Alarm: भारत में पुरुषों के मुकाबले महिलाओं की फिजकल एक्टिविटी कम, ज्यादातर युवा मोटापे का शिकार
भारत में पुरुषों के मुकाबले महिलाओं की फिजकल एक्टिविटी कम, ज्यादातर युवा मोटापे का शिकार
Paper Leak: NEET-NET पेपर लीक पर अभिभाषण में राष्ट्रपति ने कही बड़ी बात, बोलीं- सुनिए, सुनिए, तभी विपक्ष करने लगा हंगामा
NEET-NET पेपर लीक पर अभिभाषण में राष्ट्रपति ने कही बड़ी बात, बोलीं- सुनिए, सुनिए, तभी विपक्ष करने लगा हंगामा
Kalki 2898 AD Box Office Day 1: पहले दिन की धुंआधार कमाई से टूटेंगे कई रिकॉर्ड, जानें कल्कि का ओपनिंग डे कलेक्शन
पहले दिन की धुंआधार कमाई से टूटेंगे कई रिकॉर्ड, जानें कल्कि का ओपनिंग डे कलेक्शन
'किसी मजहब से नहीं जोड़ना चाहती', ओवैसी के जय फिलिस्तीन के नारे पर बोली सपा सांसद इकरा चौधरी
'किसी मजहब से नहीं जोड़ना चाहती', ओवैसी के जय फिलिस्तीन के नारे पर बोली सपा सांसद इकरा चौधरी
Embed widget