(Source: ECI/ABP News/ABP Majha)
Most Powerful Military: 2030 तक कौन से देश के पास होगी सबसे ताकतवर फौज? जानिए भारतीय सेना की रैंकिंग कितनी
एक रिपोर्ट में अनुमान लगाया गया कि अगले 6 साल में अमेरिका, चीन, भारत, जर्मनी और रूस के पास दुनिया की सबसे ताकतवर सेनाएं होंगी. इस लिस्ट में भारत को तीसरा स्थान दिया गया है.
भारत ने इस साल अपना रक्षा बजट बढ़ाकर 6.21 लाख करोड़ कर दिया है. पिछले साल यह 5.9 करोड़ था. अगले 6 साल में 132.26 बिलियन के डॉलर रक्षा बजट के साथ भारत की फौज दुनिया की तीसरी सबसे ताकतवर सेना होगी. एक रिपोर्ट में अनुमान लगाया गया कि अगने 6 सालों में कौन सी सेना सबसे पावरफुल होगी. एक्सपर्ट्स का मानना है कि 6 साल में भारत अपने रक्षा क्षेत्र में इतनी वृद्धि करेगा कि रूस और जर्मनी देश भी पीछे रह जाएंगे.
इनसाइडर मंकी में छपी एक रिपोर्ट में एक्सपर्ट्स ने मिलिट्री स्ट्रेंथ, मिलिट्री इक्विपमेंट, सैनिकों की संख्या, तकनीकी क्षमताओं और जीडीपी को ध्यान में रखकर रैंकिंग तैयार की. इस हिसाब से एक्सपर्ट्स को लगता है कि रूस, चीन, जर्मनी, भारत और अमेरिका की सेना 2030 तक दुनिया की सबसे ताकतवर सेना होंगी. आइए जानते हैं कि पांचों देशों को क्या रैंकिंग दी गई है और कौन सा देश किस नंबर पर है-
रूस
रूस फिलहाल सबसे ताकतवर सेनाओं में तीसरे नंबर पर है, लेकिन 2030 तक यह एडवांस्ड मिलिट्री इक्विपमेंट कमी के कारण पांचवें नंबर पर आ जाएगी. यूक्रेन के साथ टल रहे युद्ध के चलते वह नए और एडवांस्ड हथियार नहीं बना पा रहा है. हालांकि, सात साल बाद भी रूसी फोर्स पांच सबसे ताकतवर सेनाओं में शामिल रहेगी. रूस के पास 6,000 परमाणु हथियार हैं और यह आंकड़ा दुनिया में किसी भी देश के मुकाबले सबसे ज्यादा है. इसके अलावा, रूस के पास 14,777 बैटल टैंक और 65 सबमरीन हैं. देश के पास 13 लाख 20 हजार मैन पावर है. साल 2022 में रूस ने 86.37 बिलियन डॉलर रक्षा क्षेत्र में खर्च किए थे और 2030 तक वह अपना रक्षा बजट 90.74 बिलियन डॉलर तक बढ़ा सकता है.
जर्मनी
लिस्ट में चौथे नंबर पर जर्मनी है, जिसे आर्थिक और सैन्य रूप से यूरोप का पावरहाउस कहा जाता है. जर्मनी ने 2022 में अपने सैन्य उपकरणों और हथियारों पर खर्च के लिए 55.76 बिलियन डॉलर का बजट रखा था. अब अनुमान है कि 2030 तक उसका रक्षा बजट 69.87 बिलियन डॉलर पहुंच जाएगा. टेक्नोलॉजी की बात की जाए तो जर्मनी इस मामले में दुनिया में सबसे एडवांस देश है.
भारत
साल की शुरुआत से ही भारतीय फौज कई एडवांस हथियारों का परीक्षण कर चुकी है. मार्च में ही सेना ने आकाश मिसाइल और MIRV तकनीक से लैस अग्नि-5 मिसाइल का सफल परीक्षण किया. आकाश मिसाइल का परीक्षण सेना ने रविवार (31 मार्च) को ही किया है. मैन पावर के मामले में चीन के बाद भारतीय सेना दूसरी सबसे बड़ी फौज है. उसके पास 15 लाख से ज्यादा एक्टिव सैनिक हैं. 156 हथियारों का परमाणु शस्त्रागार है, 1,645 मिलिट्री एयरक्राफ्ट, 4,614 बैटल टैंक और नौसेना के पास 294 हथियार हैं. इसके अलावा, भारत के ओमान, ताजिकिस्तान और मॉरिशियस में भी सैन्य बेस हैं. रिपोर्ट में अनुमान जताया गया है कि 2030 तक रक्षा बजट 132.20 बिलियन डॉलर पहुंच जाएगा.
चीन
चीन की सेना दुनिया की सबसे बड़ी फौज है. देश की पीपुल्स लिबरेशन आर्मी (PLA) के पास 20 लाख से ज्यादा एक्टिव सैनिक, 5 हजार बैटल टैंक, 2,084 मिलिट्री एयरक्राफ्ट, 730 नौसैनिक हथियार, 350 परमाणु हथियार और स्पेस में 125 मिलिट्री सैटेलाइट हैं. 2030 तक चीन अपना रक्षा बजट 489.55 बिलियन डॉलर तक बढ़ा सकता है, जबकि 2022 में चीन का रक्षा बजट 292 बिलियन डॉलर था और 2023-24 के लिए 230 अरब डॉलर का बजट रखा है.
अमेरिका
संयु्क्त राज्य अमेरिका की सेना आने वाले छह साल में भी दुनिया की सबसे ताकतवर फौज होगी. अमेरिका ने 2022 में रक्षा क्षेत्र में 877 बिलियन डॉलर खर्च किए थे, जो 2030 तक 1.1 ट्रिलियन डॉलर तक पहंचने का अनुमान है. अमेरिकी सेना के पास 13 लाख 28 हजार सैनिक, 5,550 परमाणु हथियार, 4 हजार 657 बैटल टैंक, 5 हजार 208 एक्टिव मिलिट्र एयरक्राफ्ट, 11 कैरियर समेत 472 नौसिनक हथियार, 218 मिलिट्री सैटिलाइट और 750 विदेशी सैन्य अड्डे हैं.
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