(Source: ECI/ABP News/ABP Majha)
नेपाल: प्रचंड ने कहा- पार्टी विभाजन की ओर, ओली पर नई पार्टी बनाने का लगाया आरोप
प्रचंड ने कहा कि पार्टी में विचार, नीति और सिद्धांत किसी और का चल रहा है. नीति किसी और की पारित हो रही है और नेतृत्व किसी और का हो रहा है. कहीं पार्टी के भीतर समस्या की मुख्य जड़ वही तो नहीं है. यह भी देखना जरुरी हो गया है.
काठमांडू/नेपाल: काठमांडू-नेपाल के सत्तारूढ़ दल का झगड़ा अब सार्वजनिक मंचों पर दिखने लगा है. नेपाल के प्रधानमंत्री के पी शर्मा ओली के इस्तीफे की मांग करते हुए अचानक यू टर्न लेने वाले पार्टी के कार्यकारी अध्यक्ष पुष्प कमल दहल ‘प्रचंड’ ने ओली के साथ हुए "सीक्रेट डील" की खबरों के बाद खुल कर ना सिर्फ ओली की जमकर आलोचना की बल्कि उन पर कई सारे आरोप भी लगाए.
प्रचंड ने कहा- पार्टी विभाजन की तरफ बढ़ रही है नेपाल कम्युनिष्ट पार्टी के संस्थापक नेता पुष्पलाल की स्मृति दिवस पर आयोजित एक सभा को संबोधित करते हुए प्रचंड ने कहा कि इस पार्टी में कुछ भी ठीक नहीं चल रहा है और पार्टी विभाजन की तरफ बढ़ रही है. उन्होंने कहा कि अभी पार्टी की बैठक चल रही है. मैंने सार्वजनिक रूप से यह स्वीकारना चाहता हू कि पार्टी संकट में है. अगर मैं यह कहूंगा कि सबकुछ ठीक ठाक है तो यह सत्य नहीं है. क्योंकि हमारी पार्टी की बैठक के दौरान ही निर्वाचन आयोग में नेकपा एमाले नाम का नया दल पार्टी के अध्यक्ष एवं प्रधानमंत्री की सक्रियता और पहल में पंजीकृत कराया गया है. ये बात सबको मालूम है सबलोग देख रहे हैं.
प्रचंड ने कहा कि तथाकथित एकता की माला जपकर ही सिर्फ एकता हो जाएगी ऐसा नहीं है. ये संघर्ष द्वारा हासिल किया जाता है. और इस संघर्ष से सिर्फ एकता ही मिलेगा ऐसा नहीं है. इतिहास से भी हमें यही सिखने को मिलता है. एकता, संघर्ष, रूपांतरण, नए आधार में नई एकता. हम कहीं न कहीं पार्टी विभाजन की तरफ बढ़ रहे हैं. हम एक दूसरे के विचार को एक दूसरे की भावना को, एक दूसरे की संवेदनशीलता को संबोधन नहीं किया जा रहा है. ऐसा न किया जाए, जुलुस नारेबाजी नहीं की जाए , हम सभी पार्टी के भीतर विचार विमर्श कर रहे हैं, एकता के लिए ही मेहनत की जा रही है. इसलिए इससे बाहर जाकर कुछ भी करना उचित नहीं है.
प्रचंड ने के पी शर्मा ओली पर लगाए आरोप प्रचंड ने कम्युनिष्ट पार्टी की इतिहास को याद दिलाते हुए कहा कि कम्युनिष्ट पार्टी का इतिहास रहा है कि जब जब यहां सत्ता और विचार में टकराव हुआ है तब तब पार्टी विभाजित हुई है. उन्होंने ओली पर पार्टी का फैसला नहीं मानने, पार्टी के विचार और सिद्धांत से अधिक व्यक्तिवाद को बढ़ावा देने का भी आरोप लगाया.
जो आरोप प्रधानमंत्री ओली पर अब तक सिर्फ मीडिया के द्वारा लगाया जा रहा था उस आरोप के बारे में प्रचंड ने खुद पुष्टि कर दी है. प्रचण्ड ने कहा कि पार्टी बैठक के ही दौरान पार्टी के अध्यक्ष की सक्रियता और निर्देशन में नई पार्टी को दर्ता कराने के पीछे की मानसिकता क्या हो सकती है?
सत्ता, पार्टी के ऊपर हावी हो गई है
प्रचंड ने कहा कि पार्टी को सरकार का नेतृत्व करना चाहिए, लेकिन यहां सरकार ही पार्टी पर हुकुम चलाने की स्थिति आने पर यह हमारी वैज्ञानिक मान्यता के विपरीत है, पिछले दो साल को देखा जाय तो सत्ता, पार्टी के ऊपर हावी हो गई है, समूह के अधीन में व्यक्ति होने की जगह पर व्यक्ति के अधीन में समूह के जाने का ख़तरा बढ़ा गया है.
अभी देशभर में कुछ कार्यकर्ताओं को नारा जुलुस में लगाने की कोशिश की जा रही है. आपलोग देख ही रहे हैं कि कैसे मुर्दाबाद और जिन्दाबाद का नारा लगवाया जा रहा है. हम लोग पार्टी में मंथन कर रहे हैं कि पार्टी को कैसे एकताबद्ध किया जाए लेकिन उधर देशभर हमारे खिलाफ जुलुस निकाला जा रहा है.
प्रचंड ने कहा- अंतिम समय तक कोशिश करेंगे कि पार्टी में विभाजन ना हो प्रचंड ने कहा की पार्टी में अभी कुछ भी ठीक नहीं चल रहा है और यह पार्टी विभाजन में जा सकती है. हालांकि प्रचण्ड ने यह भी कहा कि वो अपने तरफ से इस विभाजन को रोकने का पूरा प्रयास करेंगे और अंतिम समय तक इस कोशिश करेंगे कि पार्टी में विभाजन ना हो लेकिन यह सिर्फ अकेले उनके चाहने से कुछ नहीं होता है. यदि पार्टी में विभाजन भी होता है तो इसे स्वाभाविक मानते हुए एक नई शुरुआत के साथ हम सभी आगे बढ़ेंगे.
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