नई दिल्ली: सीमा पर गोलीबारी और जम्मू-कश्मीर में आतंकवाद को बढ़ावा दे रहे पाकिस्तान को भारत ने ईद समारोह में शामिल होने का न्योता नहीं दिया है. पाकिस्तान के सूत्रों के हवाले से न्यूज़ एजेंसी एएनआईए ने कहा कि विदेश मंत्री सुषमा स्वराज की तरफ से आयोजित ईद समारोह में भारत में पाकिस्तान के राजदूत सोहेल महमूद को न्योता नहीं दिया गया.


ईद समारोह कल दिल्ली में प्रवासी भारतीय केंद्र में आयोजित किया गया था. इस मौके पर सुषमा स्वराज ने कहा कि भारत घृणा और हिंसा फैलाने वाली ताकतों को अपने लोगों के आसपास फटकने की इजाजत नहीं देगा. सुषमा ने कहा कि भारत में कोई भी धार्मिक त्यौहार, चाहे दीवाली हो या क्रिसमस या ईद- उल- फित्र, सभी लोगों को एक साथ लाते हैं.


विदेश मंत्री ने कहा कि भारत मुस्लिमों की सबसे बड़ी आबादी वाले देशों में शामिल है. ईद पर हमारा जश्न उसी तरह से विविध है जैसे हमारे क्षेत्र, भाषाएं, व्यंजन और परंपराएं हैं और उसी तरह से आकर्षक हैं जैसे हमारे कपड़े एवं त्यौहार हैं और उतना ही मीठा है जितनी पारंपरिक मीठी सैवंई और स्वादिष्ट व्यंजन हैं।


सुषमा ने कहा कि हम अपने विश्वासों का सच्चाई से पालन करते हैं. जैसा पैंगबर साहब ने कहा था- ‘जैसा प्यार तुम खुद से करते हो, वैसा अपने भाई या पड़ोसी से नहीं करते हो तो तुममें इमान नहीं है.’ ईद की मुबारकबाद देते हुए मंत्री ने कहा कि दुनियाभर के मुस्लिम रमजान में रोजे रखते हैं और सेहरी करने के बाद ही शाम में इफ्तार से अपना रोजा खोलते हैं.




आपको बता दें कि अंतरराष्ट्रीय बॉर्डर (आईबी) और नियंत्रण रेखा (एलओसी) पर पाकिस्तान लगातार बगैर किसी उकसावे के गोलीबारी करता रहा है. जिसकी कीमत भारत के जवान चुकाते रहे हैं. वहीं पाकिस्तान लगातार भारत में आतंकियों की घुसपैठ की कोशिश कराता रहा है. जिसकी वजह से पाकिस्तान और भारत में तल्खी काफी बढ़ी हुई है. पिछले दिनों ही ईद के मौके पर भारत ने पाकिस्तान के साथ मिठाई साझा नहीं किया था. दोनों देश पहले पर्व-त्योहार के मौकों पर मिठाई साझा करते रहे हैं.


पाकिस्तान ने भारतीय उच्चायुक्त को गुरुद्वारा जाने से रोका, भारत ने कहा- ऐसी हरकत ना करें


23 जून को पाकिस्तानी खुफिया एजेंसी आईएआई ने भारतीय उच्चायुक्त अजय बिसारिया को एक गुरुद्वारा में जाने से रोक दिया था. जब वह भारतीय श्रद्धालुओं से मिलने जा रहे थे. जिसपर भारत ने कड़ी प्रतिक्रिया दी थी. भारत ने कहा कि भारतीय उच्चायोग के अधिकारियों को रोकना वियना समझौते और 1974 के द्विपक्षीय प्रोटोकॉल का उल्लंघन है.


अमरनाथ यात्रा के लिए श्रद्धालुओं का पहला जत्था रवाना, आतंकी हमले के अलर्ट के बीच कड़ी सुरक्षा