North Korea Fired Ballistic Missiles: सियोल की सेना ने कहा कि उत्तर कोरिया ने शुक्रवार को दो छोटी दूरी की बैलिस्टिक मिसाइलें दागीं हैं. यह प्रक्षेपण इस वर्ष उत्तर कोरिया द्वारा किए गए मिसाइल परीक्षणों में नया है. उत्तर कोरिया ने इस साल कई मिसाइल का प्रक्षेपण किया. इसमें पिछले महीने अपनी सबसे उन्नत अंतरमहाद्वीपीय बैलिस्टिक मिसाइल का प्रक्षेपण भी शामिल है. नवीनतम लॉन्च की सूचना दक्षिण कोरिया के संयुक्त चीफ ऑफ स्टाफ और जापान के तट रक्षक दोनों ने दी थी.
दक्षिण कोरिया के ज्वाइंट चीफ ऑफ स्टाफ ने कहा, "हमारी सेना ने आज लगभग 16:32 (0732 जीएमटी) पर उत्तर कोरिया द्वारा प्योंगयांग के सुनान क्षेत्र से पूर्वी सागर में लॉन्च की गई दो छोटी दूरी की बैलिस्टिक मिसाइलों को देखा." उन्होंने आगे कहा, "हमारी सेना निगरानी और सतर्कता को मजबूत करते हुए अमेरिका के साथ निकटता से सहयोग करते हुए पूरी तरह से तैयार है."
संयुक्त राज्य अमेरिका और दक्षिण कोरिया ने महीनों से चेतावनी दी है कि प्योंगयांग अपना सातवां परमाणु परीक्षण करने की तैयारी कर रहा है. बता दें कि इससे पहले, अमेरिका ने मंगलवार को दक्षिण कोरियाई युद्धक विमानों के साथ संयुक्त प्रशिक्षण के लिए कोरियाई प्रायद्वीप के पास परमाणु सक्षम बमवर्षक और उन्नत स्टील्थ जेट उड़ाए थे.
एक नजर उत्तर कोरिया के हशियारों पर
न्यू यॉर्क टाइम्स के मुताबिक, उत्तर कोरिया ने इस साल 34 हथियारों का परीक्षण किया, जिसमें बैलिस्टिक और क्रूज मिसाइलें तक शामिल हैं. नवंबर में एक ही दिन में इसने 23 मिसाइलें टेस्ट कीं. इसके अलावा कहा जाता है कि उत्तर कोरिया ने साल 2006 से 2017 के बीच छह परमाणु परीक्षण किए हैं. आखिरी के चार परमाणु परीक्षण किम जोंग के कार्यकाल (2011 से अब तक) में ही हुए हैं.
वहीं, उत्तर कोरिया ने सितंबर 2017 में दावा किया था कि उसने हाइड्रोजन बम हासिल कर लिया है जिसकी विस्फोटक शक्ति 50 से लेकर थी 300 किलोटन है. यह बम 1945 में हिरोशिमा पर गिराए गए बम से 16 गुना अधिक शक्तिशाली है.
उ. कोरिया की अधिक शक्तिशाली मिसाइलें
रॉयटर्स के मुताबिक, मार्च और नवंबर में, उत्तर कोरिया ने अंतरिक्ष में 6,000 किमी से अधिक की दूरी पर बैलिस्टिक मिसाइलें भेजीं थीं. ऊंची उड़ान भरकर अपने लक्ष्य को भेदने वाली इन मिसाइलों को किसी भी कॉन्टिनेंट तक वार करने के लिए डिज़ाइन किया गया है.
कम दूरी की मिसाइलें
हालांकि, युद्ध में लंबी दूरी के हथियारों पर अधिक ध्यान दिया जाता है, लेकिन उत्तर कोरिया कम दूरी की मिसाइलों में भी संसाधन खपा रहा है. 2019 के बाद से, उ. कोरिया ने नई और तेज गति से कम दूरी की बैलिस्टिक मिसाइलें तैयार की हैं, जिनमें से कई 'मिसाइल डिफेंस सिस्टम' को भ्रमित कर सकती हैं.