पाकिस्तान के पूर्व प्रधानमंत्री नवाज शरीफ ने रविवार को कहा कि देश के खिलाफ साजिश में शामिल प्रधानमंत्री इमरान खान और अन्य लोग घोर राजद्रोह के दोषी हैं और इनके खिलाफ संविधान के उल्लंघन का मामला चलाया जाना चाहिए. पूर्व प्रधानमंत्री का यह बयान तब आया जब राष्ट्रपति आरिफ अल्वी ने संसद (नेशनल असेंबली) को भंग करने के इमरान की सलाह को मंजूरी दे दी है. अपनी सरकार के खिलाफ अविश्वास प्रस्ताव के मद्देनजर संकट से जूझ रहे प्रधानमंत्री ने ये विवादित सिफारिश की थी.
फिलहाल इलाज के लिए जमानत पर लंदन में रह रहे 72 साल के नवाज़ शरीफ ने ट्वीट किया, ‘‘आज, एक आदमी ने सत्ता के मद में संविधान को कुचल दिया.’’
पाकिस्तान मुस्लिम लीग-नवाज (पीएमएल-एन) के प्रमुख शरीफ ने कहा कि देश के खिलाफ ‘साजिश’ में शामिल खान और अन्य लोग घोर राजद्रोह के दोषी हैं और इनके खिलाफ संविधान के अनुच्छेद छह के तहत कार्रवाई होनी चाहिए. वर्ष 2017 में पनामा पेपर्स मामले के बाद शीर्ष अदालत ने शरीफ को पद से हटा दिया था. वर्ष 2018 में शीर्ष अदालत ने भ्रष्टाचार के मामलों को लेकर शरीफ को आजीवन कोई सार्वजनिक पद हासिल करने के लिहाज से अयोग्य घोषित कर दिया था.
शरीफ के छोटे भाई शहबाज ने कहा कि संविधान का खुलेआम उल्लंघन करने को लेकर इमरान के खिलाफ अनुच्छेद छह लागू होगा. प्रतिपक्ष के नेता और पाकिस्तान पीपुल्स पार्टी (पीपीपी) के अध्यक्ष बिलावल भुट्टो जरदारी ने कहा कि नेशनल असेंबली के उपाध्यक्ष कासिम सुरी ने इमरान के खिलाफ अविश्वास प्रस्ताव को खारिज करके एक ‘असंवैधानिक’ काम किया है.
इस बीच इमरान खान ने रविवार को कहा कि उपाध्यक्ष की ओर से सरकार के खिलाफ लाए गए अविश्वास प्रस्ताव खारिज किए जाने के बाद से विपक्षी दल स्तब्ध हैं. उपाध्यक्ष ने विपक्षी दलों द्वारा संयुक्त रूप से पेश किये गये अविश्वास प्रस्ताव को अनुच्छेद पांच के तहत ‘असंवैधानिक’ करार देते हुए खारिज कर दिया था.
इमरान ने कहा कि अविश्वास प्रस्ताव को लेकर नेशनल असेंबली की कार्यवाही और निचले सदन में उनकी पार्टी की ताकत ‘अप्रासंगिक‘ हो जाती है, क्योंकि यह साबित हो चुका था कि सरकार गिराने के लिए विपक्ष की ओर से लाया गया अविश्वास प्रस्ताव ‘विदेशी साजिश’ का हिस्सा है.
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