Pakistan Maulana Fazlur Rehman Convoy Attacked: पाकिस्तान (Pakistan) के राजनीतिक संगठन जमीयत उलेमा-ए-इस्लाम-फजल (JUI-F) के प्रमुख मौलाना फजल-उर-रहमान (Maulana Fazlur Rehman) के काफिले पर रविवार (31 दिसंबर) को खैबर पख्तूनख्वा के डेरा इस्माइल खान में हमला हुआ. जियो न्यूज की रिपोर्ट के मुताबिक JUI-F चीफ के काफिले पर यारिक इंटरचेंज में कई तरफ से गोलीबारी की गई. इस बात की पुष्टि पार्टी के प्रवक्ता मुफ्ती अबरार ने की.


JUI-F प्रमुख मौलाना फजल-उर-रहमान अपने काफिले के साथ डेरा इस्माइल खान की तरफ से गुजर रहे थे. इसके बाद उनके काफिले पर हमला किया गया. इस हमले के बाद फजल-उर-रहमान की सुरक्षा में मौजूद अधिकारियों ने बताया कि उनके प्रमुख सुरक्षित हैं. उन्हें किसी भी तरह की चोट नहीं आईं हैं. उन्होंने कहा कि हमले के वक्त मौलाना की कार यारिक इंटरचेंज के पास तेल भराने के लिए रुकी थी.


फजलुर रहमान ने उठाए थे सवाल
जियो न्यूज की रिपोर्ट के मुताबिक JUI-F प्रमुख फजल-उर-रहमान ने अपनी सुरक्षा को लेकर कई बार चिंतित भी दिखे थे. उन्होंने कई मौकों पर खैबर पख्तूनख्वा प्रांत के कुछ हिस्सों में सुरक्षा स्थिति के कारण मतदान के आयोजन पर संदेह जता चुके हैं. 5 दिसंबर को ही इस्लामाबाद में एक संवाददाता सम्मेलन को संबोधित करते हुए फजल-उर-रहमान ने सुरक्षा संबंधी चिंताओं को लेकर आश्चर्य व्यक्त किया था. उन्होंने कहा था कि डेरा इस्माइल खान, टैंक और लक्की मारवत में कोई पुलिस नहीं है. क्या इस स्थिति में चुनाव कराए जा सकते हैं.


इस हफ्ते की शुरुआत में फजल ने चेतावनी दी थी कि अगर चुनाव प्रचार के दौरान पार्टी के कार्यकर्ताओं पर हमला हुआ तो वह पाकिस्तान के मुख्य न्यायाधीश (CJP) काजी फैज ईसा और मुख्य चुनाव आयुक्त (CIC) सिकंदर सुल्तान राजा को जिम्मेदार ठहराएंगे.


JUI-F के काफिले पर पहले भी हमला
JUI-F के वरिष्ठ नेता हाफिज हमदुल्ला सितंबर में बलूचिस्तान के मस्तुंग इलाके में एक विस्फोट में घायल हो गए थे, जिसमें 10 अन्य घायल हो गए थे. वहीं जुलाई में बाजौर के खार में पार्टी के कार्यकर्ता सम्मेलन को निशाना बनाकर किए गए आत्मघाती विस्फोट में कम से कम 40 JUI-F कार्यकर्ता मारे गए. पाकिस्तान में पिछले वर्ष आतंकवादी घटनाओं में चिंताजनक बढ़ोतरी देखी गई है, जो 2014 के बाद से उच्चतम स्तर पर पहुंच गई है.


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