पाकिस्तान को पीओके में भी मुंह की खानी पड़ रही है, इसी महीने वो पीओके में चुनाव करवा रहा है, लेकिन इससे पहले ही बडे पैमाने पर पीओके में पाकिस्तानी सेना और सरकार का विरोध शुरू हो गया है, आरोप है कि चुनाव निष्पक्ष रूप से नहीं कराए जा रहे हैं, इसके लिए पीओके के लोगों ने अंतरराष्ट्रीय समुदाय से मदद मांगी है.


पाकिस्तानी सरकार और सेना के खिलाफ जमकर पीओके में लग रहे हैं. लोगों में गुस्सा है, नाराजगी है, पाकिस्तान की दखलअंदाजी से लोग बेहद परेशान हो रहे हैं. दरअसल पीओके के लोग ये बात अच्छी तरह समझ गए हैं कि पाकिस्तान उनके साथ दगाबाजी कर रहा है, उन्हें अपना गुलाम बनाने की तैयारी कर रहा है, पिछले कई दशकों से पाकिस्तानी सेना और सरकार पीओके पर कब्जा करना चाहती है, इसी का ये लोग विरोध कर रहे हैं

दरअसल इस विरोध की जड़ में यहां कराए जा रहे चुनाव हैं. पाकिस्तानी सेना और सरकार मिलकर सिर्फ नाम के लिए चुनाव करा रही है, जिससे दुनिया को दिखा सकें कि पीओके के चुनावों में उसकी ज़रा भी दखलअंदाजी नहीं है, जबकि है बिल्कुल इसका उल्टा.

दरअसल, पाकिस्तानी चाल से पीओके के निवासी अच्छी तरह वाकिफ हो चुके हैं. पाकिस्तान कहने को पीओके को आजाद कहता है, लेकिन दरअसल इसकी पूरी कमान पाकिस्तान ने अपने पास रखी है, वो हमेशा यहां कठपुतली सरकार ही चुनता है जिससे उसे विरोध का सामना नहीं करना पड़े, इसका का यहां के स्थानीय लोग विरोध कर रहे हैं.

पीओके के लोगों का साफ-साफ आरोप है कि पाकिस्तानी सरकार और एजेंसियां उन्हीं लोगों को चुनाव लड़ने के लिए मंजूरी दे रही हैं, जो उनके अपने लोग हैं, विरोध कर रहे इन लोगों ने मदद के लिए अंतरराष्ट्रीय समुदाय से गुहार लगा रहे हैं.

भारत लगातार कहता रहा है कि पाकिस्तान पीओके में जुल्म करता है, लोगों को उनके अधिकारों से दूर रखा जा रहा है, क्योंकि यहां की जमीन की इस्तेमाल वो भारत के खिलाफ आतंकियों को ट्रेनिंग देने में करता है. लेकिन धीरे-धीरे अब पीओके के लोगों को सच्चाई पता चल रही है, इसी का नतीजा है कि लोग पाकिस्तान के खिलाफ विरोध प्रदर्शन कर रहे हैं.


ये भी पढ़ें: abp स्पेशल: PoK ही नहीं इस्लामाबाद भी भारतीय सेना की 'जद' में, तैयार है खास हथियार