जयपुर: आतंकवाद से निपटने में पाकिस्तान के खिलाफ अमेरिकी राष्ट्रपति डोनल्ड ट्रंप के कड़े रुख का समर्थन करते हुए अफगानिस्तान के पूर्व राष्ट्रपति हामिद करजई ने उम्मीद जताई कि ट्रंप अपनी कही हुई बात पर अमल करेंगे. जयपुर लिट्रेचर फेस्टिवल (जेएलएफ) में अफगान नेता ने हिंदी फिल्मों, संगीत और भारतीय संस्कृति के प्रति अपने लगाव पर भी कई बातें कीं.


करजई ने कहा कि अगर कोई उनकी जिंदगी पर फिल्म बनाने की सोच रहें हैं तो उनके किरदार के लिए अभिनेता नसीरूद्दीन शाह सबसे सही होंगे. 'अमेरिका विरोधी' कहे जाने के संबंध में एक सवाल के जवाब में करजई ने कहा कि वह अफगानिस्तान को तबाह करने वाले आतंकवाद से निपटने के अमेरिका के तरीके के वाकई खिलाफ थे.


करजई को 2001 में अफगानिस्तान का अंतरिम नेता बनाया गया था और वे तालिबान के पतन के बाद 2004 में जनता के निर्वाचित राष्ट्रपति बने थे. ट्रंप के हालिया बयानों के बारे में पूछे जाने पर उन्होंने कहा, "यह ट्रंप के कुछ समझदारी वाले फैसलों में से एक है. हम पाकिस्तान की ओर से आतंकवाद के इस्तेमाल को लेकर राष्ट्रपति ट्रंप के दिए गए बयान का समर्थन करते हैं और उम्मीद करते हैं कि वे कार्रवाई करेंगे. वहीं इस बार कही हुई बात पर अमल  भी करेंगे."


पाकिस्तान पर तीखा हमला बोलते हुए ट्रंप ने देश पर झूठ बोलने का और आतंकियों को शरण देकर अमेरिकी नेताओं को बेवकूफ बनाने की कोशिश करने का आरोप लगाया था. फिल्म और साहित्य के संबंध में बातचीत में करजई ने कहा कि वे अभिनेता देव आनंद, हेमा मालिनी, जीनत अमान, मोहम्मद रफी और मुकेश के बारे में समारोह में मौजूद लोगों की तुलना में ज्यादा बातचीत कर सकते हैं.


करजई ने बताया कि उन्होंने कालीदास और रबींद्रनाथ टैगोर को भी पढ़ा है और दिल्ली के खान मार्केट में घूमते हुए मिर्जा गालिब की रचनाओं पर किताबें खरीदी हैं.