Russia Ukraine War: रूसी अधिकारियों ने शनिवार (9 अप्रैल) को अमेरिकी वीडियो होस्टिंग सर्विस यूट्यूब (YouTube) पर संसद के निचले सदन के चैनल को ब्लॉक करने का आरोप लगाया और कहा कि इसका जवाब दिया जाएगा.
ड्यूमा के प्रमुख व्याचेस्लाव वोलोडिन ने कहा कि वाशिंगटन "रूसियों के अधिकारों" का उल्लंघन कर रहा है, जबकि विदेश मंत्रालय की प्रवक्ता मारिया ज़खारोवा ने कहा कि "यूट्यूब ने अपने भाग्य को सील कर दिया है." वोलोडिन ने टेलीग्राम पर कहा, "संयुक्त राज्य अमेरिका सूचना के प्रसार पर एकाधिकार रखना चाहता है हम इसकी अनुमति नहीं दे सकते."
ड्यूमा-टीवी के 145,000 से अधिक सब्सक्राइबर
मॉस्को के अनुसार, ड्यूमा-टीवी के 145,000 से अधिक सब्सक्राइबर हैं. यह संसदीय बहस और रूसी सांसदों के इंटरव्यू की क्लिप प्रसारित करता है. न्यूज एजेंसी एएफपी के मुताबिक उसके पत्रकारों ने पुष्टि की है कि साइट तक पहुंच नहीं हो पा रही.
गुरुवार को, रूस के स्टेट कम्युनिकेशन वॉचडॉग ने कहा कि वह अमेरिकी इंटरनेट दिग्गज गूगल (Google) पर देश में अपनी सेवाओं के विज्ञापन पर प्रतिबंध लगाएगा. स्टेट कम्युनिकेशन वॉचडॉग ने यूट्यूब पर यूक्रेन में रूसी सैन्य अभियान के बारे में "फर्जी समाचार" फैलाने का आरोप लगाया.
रूस गूगल पर लगा सकता है प्रतिबंध
रूस गैर-राज्य मीडिया और सूचना संसाधनों तक पहुंच को अवरुद्ध करने में लगा है और आशंकाएं बढ़ रही हैं कि गूगल प्रतिबंध के लिए अगली कतार में हो सकता है. वॉचडॉग ने कहा कि गूगल के स्वामित्व वाले यूट्यूब ने रूसी कानून के "कई उल्लंघन" किए हैं और "प्रमुख प्लेटफार्मों में से एक है, जो यूक्रेन में विशेष सैन्य अभियान के दौरान फेक समाचार वितरित करता है, रूस के सशस्त्र बलों को बदनाम करता है." वॉचडॉग ने कहा कि उसने "जबरदस्ती के उपाय शुरू करने" का फैसला किया है इनमें "गूगल एलएलसी और उसके सूचना संसाधनों के विज्ञापन के वितरण पर प्रतिबंध" शामिल है.
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