Russia-China Military Exercises: रूस और चीन की सेना दो महीने में दूसरी बार संयुक्त सैन्य अभ्यास करने जा रही हैं. यूक्रेनी हमले के बीच इस तरह के सैन्य अभ्यास ने अमेरिका और यूक्रेन को चौंका दिया है. यह सैन्य अभ्यास समुद्र में जापान के करीब ओखोटस्क सागर में होने वाला है. सोमवार को चीनी सेना ने इस सैन्य अभ्यास का ऐलान किया. इस सैन्य अभ्यास में वायु सेना और नौसेना शामिल होंगी.


चीनी सेना की तरफ से जारी किए गए बयान में बताया गया है कि 'Northern Joint-2024' का आयोजन चीन की तरफ से किया गया है, जिसमें भाग लेने के लिए रूसी सेना आएगी. यह संयुक्त सैन्य अभ्यास सालाना प्लान के तहत किया जा रहा है, इसके लिए रूसी आर्मी अपनी नौसेना और वायु सेना को भेजेगी. चीनी सेना के मुताबिक, यह संयुक्त सैन्य अभ्यास सितंबर महीने में ही होना है, जो जपान सागर और ओखोटस्क सागर में निश्चित किया गया है. 


रूस भी करेगा सैन्य अभ्यास का आयोजन
'Northern Joint-2024' का उद्देश्य चीनी और रूसी सेनाओं के बीच रणनीतिक समन्वय के स्तर को गहरा करना है. इसके साथ ही सुरक्षा खतरों का संयुक्त रूप से जवाब देने की उनकी क्षमता को बढ़ाना है. इस सैन्य अभ्यास में समुद्री गश्त भी शामिल है, जिसके लिए चीन और रूस के नौसैनिक बेड़े प्रशांत क्षेत्र में गश्त करेंगे. इसके साथ ही रूसी सेना इसी साल 'दयांग-2024' रणनीतिक अभ्यास का आयोजन करेगी, जिसमें शामिल होने के लिए चीनी सेना रूस में जाएगी.


रूस और चीन की बढ़ी दोस्ती
बीते जुलाई महीने में ही रूस और चीन ने संयुक्त सैन्य अभ्यास किया था, तब नाटो देशों ने इस सैन्य अभ्यास की आलोचना की थी. अमेरिका ने आरोप लगाया था कि यूक्रेन युद्ध में रूस को चीन से मदद मिल रही है. दूसरी तरफ रूस पर बढ़े यूक्रेनी हमलों के बीच दो महीने में दूसरी बार सैन्य अभ्यास के एलान ने पश्चिमी देशों को चौंका दिया है. इसके अलावा देखने में आ रहा है कि रूस-यूक्रेन युद्ध के बाद से रूस और चीन की दोस्ती बढ़ी है. हाल के वर्षों में दोनों देशों के बीच सैन्य और आर्थिक सहयोग बढ़ा है. दोनों देश पश्चिमी देशों के खिलाफ हैं और खासतौर पर अमेरिका से नफरत करते हैं.


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