युद्ध के बीच रूस ने किया बड़ा दावा, यूक्रेन की सेना पर भारतीय छात्रों को बंधक बनाने का आरोप
यूक्रेन में फंसे भारतीय छात्रों को लेकर रूस ने बड़ा दावा किया है. भारत में रूस की एंबेसी का कहना है कि खारकीव से छोड़कर बेलगोरोड जा रहे छात्रों को यूक्रेनी सुरक्षा बलों ने बंधक बना लिया है.

लगातार आठ दिनों से रूस और यूक्रेन के बीच जारी युद्ध अभी भी चल रहा है. जहां एक ओर यूक्रेन से लगातार लाखों की संख्या में लोगों ने पलायन किया है. वहीं भारत सरकार लगातार 'ऑपरेशन गंगा' के तहत भारतीयों को सुरक्षित निकाल रही है. इस बीच खारकीव में जारी हमलों के बीच रूस ने बड़ा दावा किया है, जिससे हड़कंप मचता दिखाई दे रहा है.
दरअसल, भारत में रूसी दूतावास ने दावा किया है कि यूक्रेनी सुरक्षा बलों ने भारतीय छात्रों को मानव ढाल के रूप में इस्तेमाल करने के लिए बंधक बना लिया है. इसके साथ ही बताया जा रहा है कि रूसी राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन ने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी से बात की और यूक्रेन की स्थिति की समीक्षा की है. इस दौरान विशेष रूप से खारकीव में और युद्ध क्षेत्रों से भारतीय नागरिकों की सुरक्षित निकासी पर चर्चा हुई है.
According to the latest information, these students are actually taken hostage by the Ukrainian security forces, who use them as a human shield & in every possible way prevent them from leaving for Russia. Responsibility in this case lies entirely w/ the Kiev authorities. https://t.co/Gx1HQa0U5l
— Russia in India 🇷🇺 (@RusEmbIndia) March 2, 2022
भारत में रूस की एंबेसी के आधिकारिक ट्विटर अकाउंट से इस बात की जानकारी देते हुए बताया गया है कि हमारी जानकारी के अनुसार यूक्रेनी अधिकारियों ने भारतीय छात्रों के एक बड़े समूह को जबरन खारकीव में रखा है जो यूक्रेनी क्षेत्र को छोड़कर बेलगोरोड जाना चाहते हैं. रूस की एंबेसी का कहना है कि लेटेस्ट जानकारी के अनुसार इन छात्रों को वास्तव में यूक्रेनी सुरक्षा बलों द्वारा बंधक बना लिया गया है, जो कि उन्हें मानव ढाल के रूप में उपयोग करेंगे.
रूसी रक्षा मंत्रालय के प्रवक्ता ने ब्रीफिंग के दौरान कहा, "हमारी जानकारी के अनुसार यूक्रेनी सेना के अधिकारियों ने भारतीय छात्रों के एक बड़े समूह को जबरन खारकीव में रखा है, जो यूक्रेनी क्षेत्र छोड़कर बेलगोरोड जाना चाहते हैं." उन्होंने आगे कहा कि रूसी सशस्त्र बल भारतीय नागरिकों की सुरक्षित निकासी के लिए सभी आवश्यक उपाय करने के लिए तैयार हैं और उन्हें अपने सैन्य परिवहन विमानों या भारतीय विमानों के साथ रूसी क्षेत्र से घर भेजने के लिए तैयार हैं, जैसा कि भारतीय पक्ष ने करने का प्रस्ताव रखा था.
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