Russia Ukraine War: रूस-यूक्रेन जंग में पश्चिमी देश यूक्रेनी सेना को अपने सैन्य-साजो सामान से मदद पहुंचा रहे हैं. यूक्रेन (Ukraine) ने अमेरिका (USA) समेत नॉटो देशों से आधुनिक और ज्यादा मारक युद्धक टैंक, तोप और विमानों की मांग की है, जो कि उसे दिए भी जा रहे हैं. आज जर्मनी (Germany) ने अपने सबसे घातक माने जाने वाले 'लेपर्ड टैंक' यूक्रेन को देने पर मुहर लगा दी.
जर्मनी से यूक्रेन भेजे जाएंगे 14 लेपर्ड-2 टैंक
जर्मनी का खतरनाक लेपर्ड-2 टैंक मिलने पर यूक्रेन की सेना रूस को बड़ी चुनौती दे सकती है. हथियारों के जानकारों की मानें तो यह टैंक इतने ताकतवर हैं कि इसकी मदद से यूक्रेन रूसी टैंकों की कब्रगाह बना सकता है. हालांकि, रूस के पास बड़े और भारी हथियारों की कमी नहीं है. गौरतलब है कि, रूस और यूक्रेन के बीच आमने-सामने की लड़ाई शुरू हुए सालभर हो गया है.
2022 से रूस-यूक्रेन में आमने-सामने की जंग
फरवरी 2022 में रूस ने एक स्पेशल मिलिट्री ऑपरेशन के नाम पर यूक्रेन पर हमला कर दिया था. रूस का कहना है कि यूक्रेन की सरकार पश्चिमी देशों के साथ मिलकर रूस के खिलाफ अमेरिकी साजिश का हिस्सा बन रही है. रूस ने यूक्रेन की सरकार पर और भी कई इल्जाम लगाए और रूसी सेना भेजकर कीव तक पहुंचने की कोशिश की.
कीव यूक्रेन की राजधानी है. यूक्रेन की सेना ने कड़ी चुनौती देते हुए रूसी सेना को कई शहरों में घुसने से रोक दिया. अब इन दोनों देशों की लड़ाई और घातक होने वाली है क्योंकि यूक्रेन को जर्मनी, पोलैंड, अमेरिका और ब्रिटेन से कई तरह के भारी संसाधन मिलने लगे हैं.
शुक्रवार को जर्मनी ने 14 लेपर्ड-2 टैंक यूक्रेन में भेजने के लिए आदेश जारी कर दिया, जिससे यूक्रेन को और बल मिलेगा, क्योंकि वह रूसी सेना का मुकाबला करने के लिए भारी हथियारों की मांग कर रहा है. जर्मनी ने पहले ही कहा है कि वह यूक्रेन को अपने सैन्य भंडार से कई मिलिट्री हार्डवेयर देगा.
लेपर्ड-2 टैंक के बारे में पूछे जाने पर जर्मन सरकार के प्रवक्ता स्टीफन हेबेस्ट्रेट ने प्रेस ब्रीफिंग में कहा, "मैं पुष्टि कर सकता हूं कि यूक्रेन के लिए एक एक्सपोर्ट लाइसेंस जारी कर दिया गया है."
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