Russia-Ukraine War: यूक्रेन में चार साल की बच्ची को भी नहीं छोड़ रहे रूसी सैनिक, रिपोर्ट में सामने आया ‘पैटर्न ऑफ रेप’
Russia Ukraine Conflict: रिपोर्ट में दावा किया कि रूसी सैनिकों ने महिलाओं और लड़कियों के साथ उनके घरों में और सुनसान इलाके में उनके साथ बलात्कार की घटनाओं को अंजाम दिया.
Russia-Ukraine Crisis: रूस-यूक्रेन युद्ध को शुरु हुए सात महीने से अधिक समय बीत चुका है. रूस (Russia) ने यूक्रेन (Ukraine) पर अपने हमले तेज कर दिए हैं. इस बीच संयुक्त राष्ट्र (United Nation) ने युद्ध के शुरुआती हफ्तों के दौरान रूसी सेना (Russia Troops) को उत्तरी यूक्रेन में मानवाधिकारों के उल्लंघन के दोषी ठहराया है. यूएन ने मंगलवार (18 अक्टूबर) को यूक्रेन पर स्वतंत्र अंतरराष्ट्रीय जांच आयोग के तीन सदस्यों के हवाले से दावा किया कि उन्होंने रूसी सशस्त्र बलों के कब्जे वाले क्षेत्रों में गैरकानूनी कारावास, यातना, दुर्व्यवहार, बलात्कार और अन्य यौन हिंसा के पैटर्न की गहनता से जांच की है.
रूसी सैनिकों ने पार की सभी हदें
जांच आयोग ने अपनी रिपोर्ट में दावा किया कि यूक्रेन में रूसी सैनिक नागरिकों पर तरह-तरह के उत्पीड़न कर रहे हैं. आयोग ने अपनी रिपोर्ट में रूसी सेना के यूक्रेन के नागरिकों पर अत्याचार को लेकर कई उदाहरण भी दिए. इनमें सबसे परेशान करने वाला उदाहरण के बारे बताते हुए आयोग ने कहा कि कीव क्षेत्र में एक चार वर्षीय बच्चे को एक रूसी सैनिक पर कथित तौर पर अप्राकृतिक यौन उत्पीड़न करने के लिए मजबूर किया गया था. रिपोर्ट में बलात्कार के मामलों के कई अन्य संदर्भ शामिल हैं, जिनमें पीड़ितों की उम्र चार से 80 वर्ष के बीच बताई गई है.
रूस पर यौन हमले का आरोप
गौरतलब है कि यूक्रेनी अधिकारियों, अधिकार समूहों और संयुक्त राष्ट्र ने पहले कहा है कि मास्को यौन हमले का इस्तेमाल युद्ध की रणनीति के रूप में कर रहा है. रूसी सैनिकों ने महिलाओं और लड़कियों के साथ उनके घरों में या उन्हें जबरन उनके घरों से ले जाकर सुनसान इलाके में उनके साथ बलात्कार की घटनाओं को अंजाम दिया. ज्यादातर मामलों में इन घटनाओं को पीड़ितों के रिश्तेदारों के सामने ही अंजाम दिया गया. रिपोर्ट में कहा गया है कि महिलाओं, पुरुषों और लड़कियों के खिलाफ यौन हिंसा की अन्य घटनाएं भी दर्ज की गई हैं.
नागरिकों पर बरसाई गई अंधाधुंध गोलियां
आयोग ने कहा कि रूस की सेना ने कथित युद्ध अपराध भी किए हैं, जिनमें दो ऐसे लोग शामिल हैं जिन्हें गोली मारकर घायल कर दिया गया या प्रताड़ित किया गया. रिपोर्ट में कहा गया है कि 24 फरवरी को युद्ध शुरू होने के बाद, रूसी सेना ने उन क्षेत्रों पर अंधाधुंध गोलाबारी की जिन पर वे कब्जा करने की कोशिश कर रहे थे. रूसी सेना ने भागने की कोशिश कर रहे नागरिकों पर हमला किया. आयोग के अध्यक्ष एरिक मोसे ने एक बयान में कहा कि जानमाल का नुकसान हजारों में है. बुनियादी ढांचे का विनाश विनाशकारी है. रिपोर्ट में फरवरी के अंत और मार्च 2022 में यूक्रेन के कीव, चेर्निहाइव, खार्किव और सुमी क्षेत्रों की घटनाओं को शामिल किया गया है.
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