चीन गुपचुप तरीके से बना रहा परमाणु हथियार, भारत की बढ़ी टेंशन! सैटेलाइट तस्वीरों से खुली पोल
China Nuclear Bomb Factory: चीन सीक्रेट तरीके से नए परमाणु हथियारों की डिजाइन पर काम कर रहा है. सैटेलाइट तस्वीरों से पता चला है कि मियांयांग में उसका नया न्यूक्लियर फ्यूजन रिसर्च सेंटर है.
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China Building Fusion Research Facility: चीन अपने परमाणु हथियारों को और आधुनिक बनाने के लिए गुपचुप तरीके से न्यूक्लियर फ्यूजन रिसर्च कर रहा है. हाल ही में सामने आई सैटेलाइट तस्वीरों से पता चला है कि चीन ने दक्षिण-पश्चिमी शहर मियांयांग में एक विशाल लेजर-इग्नाइटेड फ्यूजन रिसर्च सेंटर तैयार किया है. इस रिसर्च ने दुनिया की चिंता बढ़ा दी है,क्योंकि चीन पहले से ही दुनिया का तीसरा सबसे बड़ा परमाणु हथियार जखीरा रखता है और उसके पास हवा,जमीन और समुद्र से परमाणु बम दागने की क्षमता भी मौजूद है. बता दें कि चीन के पड़ोसी देशों में भारत और रूस के अलावे किसी के पास परमाणु बम नहीं है, ऐसे में इसकी नई डिजाइन पर चीन की रिसर्च दुनिया की टेंशन बढ़ा दी है.
एक्सपर्ट्स के अनुसार,चीन मियांयांग में एक विशाल लेजर-इग्नाइटेड फ्यूजन रिसर्च सेंटर बना रहा है. यह रिसर्च सेंटर परमाणु हथियारों के डिजाइन और बिजली उत्पादन की खोज में मदद कर सकता है. सैटेलाइट तस्वीरों में रिसर्च सेंटर की चार आर्म दिखाई दे रही है, जिनमें लेजर बे और एक सेंट्रल एक्सपेरिमेंटल बे शामिल है. इस केंद्र में हाइड्रोजन आइसोटोप युक्त एक टारगेटिंग चेंबर भी है, जहां शक्तिशाली लेजर आपस में मिलकर ऊर्जा पैदा करने का काम करेंगे.
अमेरिकी परमाणु फैसिलिटी की कॉपी कर रहा चीन?
इस फैसिलिटी का डिजाइन अमेरिका की नेशनल इग्निशन फैसिलिटी (NIF) से मिलता-जुलता है. NIF ने 2022 में न्यूक्लियर फ्यूजन से पहले से अधिक ऊर्जा उत्पन्न करने में सफलता हासिल की थी. विश्लेषकों के अनुसार, चीन की फैसिलिटी में एक्सपेरिमेंटल बे NIF की तुलना में 50% बड़ा है, जो इसे दुनिया की सबसे बड़ी फैसिलिटी बना सकता है.
चीन को इस फैसिलिटी से क्या मिलेगा फायदा?
नुक्लेअर पालिसी एक्सपर्ट्स के अनुसार: चीन बिना खुले परमाणु परीक्षण के अपने हथियारों की प्रभावशीलता को बेहतर बना सकता है. परमाणु हथियारों के डिजाइन को सुधार सकता है. नई पीढ़ी के परमाणु बमों का परीक्षण प्रयोगशाला में ही कर सकता है. हेनरी एल. स्टिमसन सेंटर के परमाणु विश्लेषक विलियम अल्बर्क के अनुसार, “NIF-टाइप फैसिलिटी वाला कोई भी देश अपने परमाणु हथियारों की विश्वसनीयता बढ़ा सकता है और भविष्य के डिजाइन को परीक्षण किए बिना सुधार सकता है.”
क्या कह रहा है चीन का विदेश मंत्रालय?
चीन के विदेश मंत्रालय ने इस फैसिलिटी से जुड़े सवालों को "सक्षम प्राधिकारी" के पास भेज दिया. चीन के विज्ञान और प्रौद्योगिकी मंत्रालय ने भी इस पर कोई आधिकारिक टिप्पणी नहीं दी.
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