वाशिंगटन:  अमेरिका (US) और ताइवान (Taiwan) के बीच 10 करोड़ अमेरिकी डॉलर के मिसाइल समझौते (missile agreement) को राष्ट्रपति जो बाइडन (Joe Biden) के प्रशासन ने मंजूरी दे दी है. इस मिसाइल समझौते का उद्देश्य चीन के बढ़ते दबाव के मद्देनजर ताइवान की मिसाइल रक्षा प्रणाली को मजबूत करना है.


अमेरिका के विदेश मंत्रालय ने सोमवार को एक बयान जारी कर इस मिसाइल समझौते को मंजूरी मिलने की जानकारी दी.


चीन में राष्ट्रवादी भावनाएं चरम पर
चीन की राजधानी बीजिंग में इस समय शीतकालीन ओलंपिक खेलों का आयोजन किया जा रहा है और इसके परिणामस्वरूप देश में राष्ट्रवाद की भावना चरम पर है. आशंका जताई जा रही है कि खेलों के समापन के बाद चीन का ताइवान पर रुख और सख्त होगा.


चीन ताइवान को अपना हिस्सा मानता है और उसे अपने अधिकार क्षेत्र में लाने के लिए बल प्रयोग की संभावना से इंकार नहीं करता. हाल के महीनों में चीन के लड़ाकू विमानों ने ताइवान के हवाई क्षेत्र में उड़ान भरी थी.


चीन ने समझौते के रद्द करने का आह्वान किया था
चीन ताइवान को किसी भी अमेरिकी हथियारों की बिक्री की तीखी आलोचना करता रहा है. चीन ने अमेरिका से इस समझौते को रद्द करने और ताइवान के साथ किसी भी सैन्य बातचीत को रोकने का आह्वान किया.


चीन के विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता झाओ लिजियन ने मंगलवार को कहा, ‘‘ताइवान को अमेरिकी हथियारों की बिक्री... चीन की संप्रभुता और सुरक्षा हितों को गंभीर रूप से नुकसान पहुंचाती है.’’


यह समझौता ताइवान को उसकी मौजूदा वायु-रक्षा मिसाइल प्रणाली और उन्नत अमेरिकी मिसाइलों को तैनात करने में मदद करने के लिए है, जो ताइवान को अमेरिका से मिल रही हैं.  ताइवान के रक्षा मंत्रालय ने इस समझौते को मंजूरी देने के लिए अमेरिका का शुक्रिया अदा किया है.


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