Surya Grahan 2024 : अप्रैल के बाद 2 अक्टूबर को फिर से सूर्यग्रहण की खगोलीय घटना होने वाली है, लेकिन यह अप्रैल की घटना से अलग होगा. इस बार वलायाकार ग्रहण होगा जिसे 'रिंग ऑफ फायर' के नाम से भी जाना जाता है. इस दौरान आसमान में एक अद्भुत खगोलीय घटना घटित होगी. वलयाकार सूर्यग्रहण 2 अक्टूबर को होगा. इससे पहले 8 अप्रैल को ऐसी घटना हुई थी. 2 अक्टूबर को अमेरिका के समय अनुसार 11:42 बजे सुबह आंशिक ग्रहण शुरू होगा, जब चंद्रमा सूर्य के सामने से गुजरेगा. 12 बजकर 50 बजे दोपहर में वलयाकार सूर्यग्रहण दक्षिणी प्रशांत महासागर में शुरू होगा. शाम में 5:47 बजे दक्षिणी अटलांटिक महासागर में समाप्त होगा.
क्यों कहा जाता है रिंग ऑफ फायर?
दरअसल, सूर्य ग्रहण एक खगोलीय घटना है. जब पृथ्वी और सूर्य के बीच में चंद्रमा के आने से सूर्य दिखाई देना बंद कर देता है, इसे ही सूर्यग्रहण कहा जाता है. हालांकि, यह तीन प्रकार का होता है, पहला आंशिक, जब चंद्रमा सूर्य का कुछ हिस्सा ढंक लेता है. दूसरा पूर्ण सूर्यग्रहण जब चंद्रमा सूर्य को पूरा ढंक लेता है और तीसरा होता है वलयाकार ग्रहण. इसमें चंद्रमा सूर्य और पृथ्वी के बीच से गुजरता है, लेकिन सूर्य को पूरी तरह से नहीं ढंक पाता. यह आग के छल्ले की तरह प्रतीत होता है, इसलिए इसे 'रिंग ऑफ फायर' कहा जाता है. यह दुर्लभ नजारा कुछ देर के लिए होता है, इसलिए खगोल वैज्ञानिक इसका इंतजार करते हैं.
भारत को छोड़कर इन देशों दिखेगा सूर्यग्रहण
यह सूर्यग्रहण दक्षिणी प्रशांत महासागर, दक्षिणी अटलांटिक महासागर और दक्षिण अमेरिका में दिखेगा. चिली और अर्जेंटीना के कुछ हिस्सों में यह पूरा दिखाई देगा. 2 अक्टूबर को जब अमेरिका में यह सूर्यग्रहण होगा, तब भारत में रात होगी तो वलायाकार सूर्यग्रहण भारत में दिखाई नहीं दे सकेगा. भारत को छोड़कर आर्कटिक, अर्जेंटीना, फिजी, चिली, पेरू, ब्राजील, न्यूजीलैंड, अंटार्कटिका, प्रशांत महासागर, दक्षिण अमेरिका समेत कई देशों में लोग इसे देख सकेंगे.
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