Taliban News: तालिबान ने अफगानिस्तान पर दिल्ली क्षेत्रीय सुरक्षा वार्ता का स्वागत किया है. इसके साथ ही तालिबान ने कहा कि दुनिया को इस बात की चिंता नहीं करनी चाहिए कि अफगानिस्तान की धरती का इस्तेमाल किसी के खिलाफ किया जा रहा है. मीडिया रिपोर्ट के अनुसार तालिबान ने दावा किया कि उन्होंने अफगानिस्तान पर भारत सम्मेलन के लिए उल्लिखित सभी मांगों को पहले ही पूरा कर लिया है.


अफगानिस्तान पर भारत की बैठक का स्वागत


मीडिया सूत्रों ने अफगानिस्तान विदेश मंत्रालय के उप प्रवक्ता इनामुल्ला समांगानी के हवाले से कहा, ''इस्लामिक अमीरात (तालिबान) भारत की बैठक का स्वागत करता है. हम शासन में ठोस कदम उठाने की कोशिश कर रहे हैं और देशों को किसी के खिलाफ अफगानिस्तान की धरती का इस्तेमाल करने के बारे में चिंतित नहीं होना चाहिए." सूत्रों ने कहा कि दिल्ली सुरक्षा वार्ता में अफगानिस्तान में स्थिति और देश और क्षेत्र की प्रमुख चुनौतियों को लेकर आकलन के साथ विचार विमर्श किया गया. 


भारत समेत 8 देशों ने लिया था वार्ता में भाग


भारत सहित आठ देशों के राष्ट्रीय सुरक्षा परिषदों या राष्ट्रीय सुरक्षा परिषदों के प्रमुखों ने अफगानिस्तान पर दिल्ली क्षेत्रीय सुरक्षा वार्ता में भाग लिया. इसकी अध्यक्षता एनएसए अजीत डोभाल ने की. मीडिया सूत्रों ने एक राजनीतिक विश्लेषक सैयद हारून हाशिमी के हवाले से कहा, " दुनिया के कई देश तालिबान के साथ बातचीत के जरिए अपनी इच्छाएं जताने की कोशिश कर रहे हैं और इन बैठकों का अफगानिस्तान के लिए सकारात्मक परिणाम है."


भारत से अफगानिस्तान को उम्मीद


अंतरराष्ट्रीय संबंध विश्लेषक सैयद हकीम कमाल के हवाले से कहा गया है कि भारत की बैठक अफगानिस्तान के लिए प्रभावी है क्योंकि भारत अफगानिस्तान को सहायता प्रदान करने वाले देशों में से एक है और अब यह अफगानिस्तान का समर्थन करने में भी दिलचस्पी रखता है. भारत को बहुत ही महत्वपूर्ण देश बताते हुए तालिबान ने भारत के अफगानिस्तान सम्मेलन के बाद कहा कि वे भारत सरकार के साथ अच्छे राजनयिक संबंध चाहते हैं. 


प्रवक्ता जबीहुल्ला मुजाहिद ने यह भी आश्वासन दिया कि "अफगानिस्तान के इस्लामी अमीरात की नीति" के अनुसार, उसकी जमीन का इस्तेमाल किसी भी देश के खिलाफ नहीं किया जाएगा और तालिबान आपसी सहयोग चाहता है. तालिबान का मानना है कि भारत का सम्मेलन अफगानिस्तान के बेहतर हित में है और इस बैठक से क्षेत्र में शांति और स्थिरता लाने में भी काफी मदद मिलेगी. बहरहाल तालिबान ने उम्मीद जताई है दुनिया के देश जरुर अफगानिस्तान की मदद में हाथ आगे बढ़ाएंगे.


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