यूक्रेन के मसले को लेकर संकट काफी गहरा गया है. इस बीच यूक्रेन (Ukraine) के राष्ट्रपति वोलोडिमिर ज़ेलेंस्की (Volodymyr Zelenskyy) का कहना है कि उन्होंने रूस के राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन (Vladimir Putin) को फोन करने का प्रयास किया लेकिन कोई प्रतिक्रिया नहीं दी गई. यूक्रेन के नेता ज़ेलेंस्की ने कहा कि उन्होंने रूसी राष्ट्रपति पुतिन के साथ एक फोन कॉल की शुरुआत की लेकिन क्रेमलिन से उन्हें कोई प्रतिक्रिया नहीं मिली. एसोसिएटेड प्रेस के मुताबिक रूस के बढ़ते खतरे के बीच यूक्रेन के राष्ट्रपति शांति की गुहार लगा रहे हैं. हालांकि उनका मानना है कि रूसी राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन उनकी अपील को स्वीकार नहीं करेंगे. बुधवार देर रात राष्ट्र के नाम एक भावनात्मक संबोधन में यूक्रेनी राष्ट्रपति वोलोडिमिर ज़ेलेंस्की ने रूस के दावों को खारिज कर दिया कि उनका देश रूस के लिए खतरा है.
यूक्रेन के लोग और सरकार शांति के पक्षधर
यूक्रेन के राष्ट्रपति वोलोडिमिर ज़ेलेंस्की (Volodymyr Zelenskyy) ने अफसोस जताते हुए कहा कि रूसी आक्रमण में हजारों लोगों की जान जाएगी. उन्होंने कहा कि यूक्रेन (Ukraine) के लोग और यूक्रेन की सरकार शांति चाहते हैं. लेकिन अगर राष्ट्र पर हमला होता है तो हम उसका सामना करेंगे. यूक्रेनी राष्ट्रपति ने रूसी संघ के नागरिकों से कहा कि अगर रूसी नेतृत्व हमारे साथ शांति के लिए नहीं बैठना चाहता है, तो शायद वह आपके साथ एक मेज पर बैठ जाएं. क्या रूस के नागरिक युद्ध चाहते हैं? मैं इस प्रश्न का उत्तर देना पसंद करूंगा लेकिन उत्तर केवल आप पर निर्भर करता है.
यूक्रेन में रूस ने अपना दूतावास खाली किया
उधर, रूस की सरकार की ओर से संचालित समाचार एजेंसी तास ने बुधवार को कहा कि मॉस्को ने यूक्रेन स्थित अपना दूतावास खाली कर दिया है. वहीं, यूक्रेन ने भी अपने नागरिकों से रूस छोड़ने का आग्रह किया है. मॉस्को का कीव में दूतावास है और खार्किव, ओडेसा और ल्वीव में वाणिज्य दूतावास हैं. रूसी समाचार एजेंसी तास की रिपोर्ट में कहा गया है कि रूस ने यूक्रेन में अपने राजनयिक प्रतिष्ठानों को खाली कर दिया है.
वहीं कीव में एसोसिएटेड प्रेस के एक फोटो पत्रकार ने देखा कि अब कीव में रूसी दूतावास भवन पर झंडा नहीं लगा है. हफ्तों तक शांत रहने की कोशिश के बाद यूक्रेनी अधिकारियों ने बुधवार को बढ़ती चिंता का संकेत दिया. वहीं तेजी से बिगड़ती स्थिति के बीच यूक्रेन की राष्ट्रीय सुरक्षा और रक्षा परिषद के प्रमुख ने राष्ट्रव्यापी आपातकाल की स्थिति का आह्वान किया.
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