(Source: ECI/ABP News/ABP Majha)
COVID 19 in US: बढ़ते कोरोना के बीच अमेरिका में अपार्टमेंट में बदले जा रहे हैं पुराने दफ्तर, Work From Home का चलन बढ़ा
US: अमेरिका में प्रॉपर्टी डेवलपमेंट फर्म फॉल्गर-प्रैट के प्रबंध निदेशक Michael Abrams का मानना है कि पुराने दफ्तरों को अपार्टमेंट में बदलने से किफायती आवास की कमी को कम करने में मदद मिलेगी.
America Work From Home: कोविड-19 महामारी के बीच अमेरिका में पुराने दफ्तरों (Old Offices) को अपार्टमेंट (Apartments) तब्दील किया जा रहा है. वॉशिंगटन में कभी अमेरिकी जस्टिस डिपार्टमेंट द्वारा इस्तेमाल किए जाने वाले दफ्तर सैकड़ों लोगों के लिए घरों में तब्दील होने के लिए तैयार है. महामारी के बीच वर्क फ्रॉम होम का प्रचलन बढ़ा है ऐसे में लोगों को काफी कुछ सस्ते घरों से राहत मिलने की उम्मीद है. 2021 में प्रॉपर्टी मार्केट को काफी नुकसान पहुंचा. डेवलपर्स ने होटल और ऑफिस खरीदे जो व्यापार के लिए काफी चुनौतियों का सामना कर रहे थे और अब उन्हें अपार्टमेंट में बदलने की घोषणा की गई है.
अमेरिका में पुराने दफ्तरों को अपार्टमेंट में बदलने की योजना
अमेरिका में कोविड-19 महामारी की वजह से व्यापार काफी प्रभावित हुए हैं. अपार्टमेंट लिस्टिंग सेवा रेंटकैफे के एक सर्वे में पाया कि पिछले साल अमेरिका में करीब 20,100 अपार्टमेंट परिवर्तित संपत्तियों से बनाए गए थे जो पिछले साल में परिवर्तित संख्या से करीब दोगुना था. प्रॉपर्टी डेवलपमेंट फर्म फॉल्गर-प्रैट के प्रबंध निदेशक माइकल अब्राम्स (Michael Abrams) भी न्यूयॉर्क में 14-मंजिला इमारत को अपार्टमेंट में बदल रहे हैं. माइकल अब्राम्स का मानना है कि पुराने दफ्तरों को अपार्टमेंट में बदलने से किफायती आवास की कमी को कम करने में मदद मिलेगी. खासकर वॉशिंगटन जैसे शहरों में जहां घरों का किराया काफी महंगा है.
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किराए में कमी आने की संभावना
नेशनल एसोसिएशन ऑफ रीयलटर्स के मुख्य अर्थशास्त्री लॉरेंस यूं (Lawrence Yun) का कहना है कि समग्र दृष्टिकोण के जरिए हमें केवल आपूर्ति में वृद्धि की जरूरत है. अधिक आपूर्ति होने से घर की कीमतों में बढ़ोत्तरी कम हो जाएगी साथ ही किराए में कमी आएगी. कोविड -19 की वजह से मंदी के बावजूद मौजूदा घरों की औसत कीमत 2021 के दौरान 15.8 फीसदी तक बढ़ गई है. वहीं पिछले महीने तक घरों की उपलब्धता निम्न स्तर पर पहुंच गई थी. एनएआर के आंकड़ों के मुताबिक संभावित रूप से किफायती आवास का संकट बढ़ गया था. एक अनुमान के मुताबिक लोग अपनी आय का करीब 30 फीसदी किराए पर खर्च करते हैं.
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