US Japan Relation: 'जापान पर आंच भी आई तो...', इंडो पैसिफिक में बढ़ते चीनी दखल पर अमेरिका ने दी चेतावनी
अमेरिका के रक्षा मंत्री ने बीते साल अमेरिका-जापान के रक्षा-विदेश मंत्रियों की सालाना 2+2 बैठक के बाद कहा था कि अमेरिका जापान की रक्षा के लिए पूरी तरह से प्रतिबद्ध है.
US Japan Relation: अमेरिका ने जापान के साथ चीन के बढ़ते तनाव को देखते हुए चीन को कड़ी चेतावनी दी. उसने कहा कि जापान पर कोई भी हमला अमेरिका पर हमला माना जाएगा और ऐसी स्थिति में चीन-अमेरिका के बीच भी युद्ध छिड़ जाएगा. अमेरिका ने यह बयान चीन के इंडो पैसिफिक क्षेत्र में बढ़ती हुई गतिविधि के मद्देनजर दिया है.
दरअसल अमेरिका-जापान के बीच एक रक्षा संधि हो रखी है, जिसके आर्टिकल 5 के मुताबिक किसी एक देश पर हमला दोनों देशों पर हमला माना जाएगा. इसलिए बुधवार (11 जनवरी) को यूएस ने एक रेगुलर प्रेस कॉन्फ्रेंस में कहा कि संधि के मुताबिक यूएस अपनी कुछ मरीन युनिट जापान के सीमावर्ती क्षेत्रों में तैनात करेगा. वह यह कदम इंडो पैसिफिक क्षेत्र में चीन के साथ बढ़ते तनाव के मद्देनजर उठाने जा रहा है.
हाल ही में हुई थी 2+2 मीटिंग
बीते साल चीन-अमेरिका के बीच आपस में रक्षा और विदेश सहयोग बढ़ाने को लेकर विदेश और रक्षा मंत्रियों के बीच वाशिंगटन में 2+2 मीटिंग हुई थी. इस बैठक में दोनों देशों ने बदलते हुए समय के साथ बढ़ रहे सामरिक खतरों को ध्यान में रखते हुए एक दूसरे का सहयोग करने की बात कही थी.
इस मीटिंग में जापानी रक्षा मंत्री यासुकाज़ु हमादा, जापान के विदेश मंत्री योशिमासा हयाशी तो वहीं अमेरिका की तरफ से विदेश मंत्री एंटनी ब्लिंकन और रक्षा सचिव लॉयड ऑस्टिन ने बैठक की थी. इसी बैठक में जापान में एक मरीन लिटोरल रेजिमेंट भेजने की जानकारी दी गई थी.
कहां पर तैनात होगी ये मरीन यूनिट?
अमेरिका के रक्षा मंत्री लॉयड ऑस्टिन ने बताया कि 2025 तक अमेरिकी मरीन युनिट्स जापानी द्वीप ओकिनावा पर तैनात की जाएंगी. जापान का यह द्वीप सामरिक रूप से बेहद अहम है क्योंकि यह ताइवान के काफी नजदीक है. यहां से अमेरिकी एजेंसियां समुद्र और हवा के जरिए ऑपरेशन लॉन्च कर सकेंगी.
ऑस्टिन ने इस बाबत बयान देते हुए कहा कि, उनको लगता है कि यह जापान की रक्षा में मदद करने और एक मुक्त और खुले इंडो पैसिफिक क्षेत्र को बढ़ावा देने के हमारे प्रयासों में बेहद अहम होगा. उस दौरान उन्होंने जापान से अमेरिका का उनकी रक्ष किये जाने का वादा भी दोहराया.
चीन-जापान के बीच क्या है विवाद?
जापान-चीन के बीच वैसे तो कई विवाद हैं लेकिन इंडो पैसिफिक क्षेत्र में चीन जापान के सेनकाकू द्वीप को अपना बताता आया है. बीजिंग इस द्वीप को दियाओयू के नाम से बुलाता है और जापान पर उसे वापस देने का दबाव बना रहा है.
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