Vladimir Putin in Mongolia: रूस के राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन आधिकारिक यात्रा पर मंगोलिया पहुंच गए हैं. पुतिन की यह यात्रा जापानी सेना पर सोवियत-मंगोलियाई सैनिकों की संयुक्त जीत की 85वीं वर्षगांठ पर हो रही है. मंगोलिया रूस का पड़ोसी देश है, पुतिन सोमवार की शाम को मंगोलिया की राजधानी उलानबटार पहुंचे. पुतिन के मंगोलिया पहुंचते ही उनकी गिरफ्तारी की मांग उठने लगी है, क्योंकि मंगोलिया इंटरनेशनल क्रिमिनल कोर्ट का सदस्य है और कोर्ट की तरफ से पुतिन पर गिरफ्तारी वारंट जारी है. 


रूसी मीडिया स्पुतनिक ने बताया कि, मंगोलिया में व्लादिमीर पुतिन रूस-मंगोलिया कॉप्रिहेंसिव स्ट्रैटजिक पार्टनरशिप के साथ ही द्विपक्षीय संबंधों को आगे बढ़ाने पर बातचीत करेंगे. इसके साथ ही व्लादिमीर पुतिन खालखिन-गोल युद्ध की 85वीं वर्षगांठ पर होने वाले कार्यक्रमों में शामिल होंगे. रिपोर्ट में बताया गया है कि साल 2019 के बाद व्लादिमीर पुतिन पहली बार मंगोलिया गए हैं. 


व्लादिमीर पुतिन पर आईसीसी के आरोप
दरअसल, इंटरनेशनल क्रिमिनल कोर्ट (ICC) ने इसी साल मार्च महीने में व्लादिमीर पुतिन के खिलाफ गिरफ्तारी वारंट जारी किया था. आईसीसी का कहना है कि यूक्रेन युद्ध में व्लादिमीर पुतिन के खिलाफ अपराध के पर्याप्त सबूत हैं. आईसीसी ने कहा है कि यूक्रेन के अनाथालयों और बालगृहों से सैकड़ों बच्चों को रूस लाया गया है, जिससे इन बच्चों को रूस में रह रहे लोग गोद ले सकें. हालांकि, रूस ने आईसीसी के इन आरोपों को खारिज कर दिया है. इसके साथ ही आईसीसी की वैधानिकता पर ही सवाल उठा दिया है. 


आईसीसीसी को नहीं मानता रूस
व्लादिमीर पुतिन दुनिया के दूसरे सबसे ताकतवर देश के राष्ट्रपति हैं, ऐसे में इस बात की कोई उम्मीद नहीं है कि वे आईसीसी के आदेशों को मानेंगे. रूस पहले से ही आईसीसी को मान्यता नहीं देता है, ऐसे में रूस के अंदर व्लादिमीर पुतिन की गिरफ्तारी नहीं हो सकती है. इसके अलावा उनके देश में नहीं रहने पर इस तरह का मुकदमा चलाना संभव नहीं है. 


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