तानाशाह किम जोंग उन के 'समर्थन' में आया रूस, क्या युद्ध के मुहाने पर खड़ी है दुनिया?
रूस के राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन ने कहा, ‘‘हमें उत्तर कोरिया को अलग-थलग नहीं करना चाहिए. तनाव बढ़ाने वाले कदमों से हर किसी को बचना चाहिए और संयम दिखाना चाहिए.’’
सोल: उत्तर कोरिया के हालिया परमाणु परीक्षण की निंदा करने के बावजूद रूस और दक्षिण कोरिया, उत्तर कोरिया के खिलाफ प्रतिबंधों को और कड़े करने के मुद्दे पर अलग-अलग खेमों में बंटे मालूम हुए. रूस के व्लादिवोस्तोक शहर में बुधवार को दक्षिण कोरिया के राष्ट्रपति मून जेइ-इन के साथ बैठक के बाद रूस के राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन ने उत्तर कोरिया से बातचीत का आह्वान करते हुए कहा कि देश के परमाणु और मिसाइल कार्यक्रम का समाधान बैन नहीं हैं.
हमें उत्तर कोरिया को अलग-थलग नहीं करना चाहिए: पुतिन
राष्ट्रपति मून उत्तर कोरिया के खिलाफ और कड़े प्रतिबंध का रूस से समर्थन करने की मांग कर रहे थे. पुतिन ने बैठक के बाद कहा, ‘‘हमें उत्तर कोरिया को अलग-थलग नहीं करना चाहिए. तनाव बढ़ाने वाले कदमों से हर किसी को बचना चाहिए और संयम दिखाना चाहिए.’’ पुतिन से मुलाकात के मद्देनजर मून ने कहा कि अगर उत्तर कोरिया के मिसाइल और परमाणु कार्यक्रम को नहीं रोका गया तो स्थिति काबू से बाहर हो सकती है.
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दक्षिण कोरिया के राष्ट्रपति मून ने कहा, ‘‘मेरा और राष्ट्रपति पुतिन का मानना है कि उत्तर कोरिया अपने परमाणु और मिसाइल कार्यक्रम की दिशा में गलत तरीके से आगे बढ़ रहा है और कोरियाई प्रायद्वीप में तनाव कम करना तत्काल मुद्दा है.’’ उदारवादी रूख वाले मून ने मई में पद संभाला था और उन्होंने शुरुआत में उत्तर कोरिया को लेकर कूटनीतिक रवैया रखने को प्राथमिकता दी थी लेकिन उत्तर कोरिया के हथियारों के परीक्षण जारी रहने की वजह से उनकी सरकार ने दुश्मन देश की ओर कड़ा रूख रखा हुआ है.