Hajj 2024 Death: इस साल सऊदी अरब में हज यात्रा के दौरान भीषण गर्मी के कारण 1,000 से अधिक हज यात्रियों की मौत हो गई है. इनमें 98 भारतीय भी शामिल है. हालांकि, हज यात्रा के दौरान इतने बड़े पैमाने पर गई लोगों की जानों को लेकर सऊदी अरब की व्यवस्था सवालों के घेरे में आ गई है. मिस्र ने हज यात्रियों को मक्का ले जाने वाली कंपनियों के लाइसेंस निलंबित कर दिया तो वहीं कुछ हाजियों ने स्वास्थ्य व्यवस्था पर सवाल उठाए हैं.

दरअसल, सऊदी अरब में हज यात्रा के दौरान सैकड़ों लोगों की मौत हुई. बताया गया कि इनमें अधिकतर लोगों की मौत सऊदी अरब में पड़ रही भीषण गर्मी के कारण हुई, क्योंकि यहां तापमान 51 डिग्री से अधिक हो गया था.

मिस्र, भारत समेत इन देशों के नागरिकों की गई जान

समाचार एजेंसी एएफपी ने एक अरब राजनयिक के हवाले से बताया कि इस साल हज यात्रा के दौरान 658 मिस्र के लोग मारे गए. वहीं, इंडोनेशिया के मुताबिक, उसके 200 से अधिक नागरिकों की जान गई. साथ ही भारत ने कहा कि उनके 98 लोगों के मरने की जानकारी है. इसके अलावा पाकिस्तान, मलेशिया, जॉर्डन, ईरान, सेनेगल, सूडान और इराक ने भी अपने नागरिकों की मौतों की पुष्टि की है. 

किस देश के कितने लोगों की हुई मौत?

देश कितने लोगों की मौत हुई?
मिस्र 658
इंडोनेशिया 200
भारत 98

इसके अलावा पाकिस्तान, मलेशिया, जॉर्डन, ईरान, सेनेगल, सूडान और इराक ने भी अपने नागरिकों की मौत की पुष्टि की है...

मिस्र सरकार ने ट्रैवल कंपनियों पर की कार्रवाई

हज यात्रा के दौरान सबसे अधिक नागरिकों की जान जाने के बाद मिस्र सरकार ने बड़ा कदम उठाया है. मिस्र सरकार ने शनिवार को घोषणा की है कि उसने 16 टूर एंड ट्रैवल कंपनियों के लाइसेंस निलंबित कर दिए हैं, जिन्होंने हज यात्रियों को सऊदी अरब की यात्रा की सुविधा प्रदान की थी. उन्होंने कहा कि ये कंपनियां हज यात्रियों को चिकित्सा देखभाल जैसी महत्वपूर्ण सेवाएं देने में विफल रहीं.

हज से लौटे यात्रियों ने बताया आंखों देखा हाल

वहीं, हज यात्रियों ने सीएनएन को बताया कि सऊदी अरब में भीषण गर्मी के प्रभाव से यात्रियों को बचाने के लिए वहां पर्याप्त चिकित्सा या बुनियादी सुविधाएं नहीं थीं. प्रत्यक्षदर्शियों ने बताया कि हज यात्रा के दौरान लोग अचानक बेहोश हो रहे थे. उन्होंने कहा, "घर लौटते समय रास्ते में मैंने कई तीर्थयात्रियों को मरते हुए देखा. लगभग हर कुछ सौ मीटर पर एक शव पड़ा था और उसे सफेद कपड़े से ढका हुआ था.''

क्यों हुई यात्रियों की मौत?

सऊदी अरब के सांख्यिकी महानिदेशालय के अनुसार, इस साल हज के दौरान 1.8 मिलियन से अधिक लोग यहां पहुंचे थे. हज का मौसम हर साल इस्लामी कैलेंडर के अनुसार बदलता है और इस साल यह जून में पड़ा, जो सबसे गर्म महीनों में से एक है. एएफपी की रिपोर्ट के अनुसार, मरने वालों में से आधे से अधिक लोगों का रजिस्ट्रेशन नहीं था, जिसके कारण उन्हें AC टेंट और बसों जैसी सुविधाएं नहीं मिल पाईं और बढ़ते तापमान ने लोगों के लिए काफी मुश्किलें भी पैदा की.

भारत से कितने यात्री गए हज पर?

विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता रणधीर जायसवाल ने कहा कि पिछले साल हज की पूरी अवधि में भारत के कुल 187 लोगों की मौत हुई थी. उन्होंने कहा, ''इस साल 1,75,000 भारतीय तीर्थयात्री हज के लिए मक्का गए हैं. हज की अवधि 9 मई से 22 जुलाई तक है. इस साल अब तक 98 लोगों की मौत हो जाने की सूचना है. इनमें मौतें प्राकृतिक कारणों, पुरानी बीमारियों और बुढ़ापे के कारण हुई हैं. अराफात के दिन छह लोगों की मौत हुई और चार लोगों की मौत दुर्घटना के कारण हुई.''

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