एक्सप्लोरर
Advertisement
![ABP Premium](https://cdn.abplive.com/imagebank/Premium-ad-Icon.png)
SEBI Rules: इन्वेस्टमेंट एडवाइजर्स पर सेबी की सख्ती, हर 6 महीने पर करना होगा ये काम
Investment Advisors Rules: बाजार नियामक सेबी ने सोशल मीडिया के जरिए निवेशकों को प्रभावित करने के मामले में बढ़ोतरी के चलते नियमों में ये बदलाव किया है...
![Investment Advisors Rules: बाजार नियामक सेबी ने सोशल मीडिया के जरिए निवेशकों को प्रभावित करने के मामले में बढ़ोतरी के चलते नियमों में ये बदलाव किया है...](https://feeds.abplive.com/onecms/images/uploaded-images/2024/05/09/8545e5f289f69a840029228cf46c7f801715241044267685_original.jpeg?impolicy=abp_cdn&imwidth=720)
बाजार नियामक सेबी ने निवेश सलाहकारों को लेकर नियमों में बदलाव किया है. इस बदलाव के तहत निवेश सलाहकारों यानी इन्वेस्टमेंट एडवाइजर्स को हर 6 महीने पर अपने सोशल मीडिया हैंडल्स की जानकारी देने के लिए कहा गया है.
1/5
![नियामक ने सोशल मीडिया हैंडल्स की जानकारी देने के लिए एक रिपोर्टिंग फॉर्मेट भी ड्राफ्ट सर्कुलर के माध्यम से जारी किया है. इन्वेस्टमेंट एडवाइजर्स को बताए गए फॉर्मेट में अपने विभिन्न सोशल मीडिया हैंडल्स के बारे में बताना होगा.](https://feeds.abplive.com/onecms/images/uploaded-images/2024/05/09/1bf90c5504628cbb53a72cb78f29056156fcb.jpeg?impolicy=abp_cdn&imwidth=720)
नियामक ने सोशल मीडिया हैंडल्स की जानकारी देने के लिए एक रिपोर्टिंग फॉर्मेट भी ड्राफ्ट सर्कुलर के माध्यम से जारी किया है. इन्वेस्टमेंट एडवाइजर्स को बताए गए फॉर्मेट में अपने विभिन्न सोशल मीडिया हैंडल्स के बारे में बताना होगा.
2/5
![सेबी ने इन्वेस्टमेंट एडवाइजर्स को एक्स (पूर्ववर्ती ट्विटर), फेसबुक, लिंक्डइन समेत विभिन्न अन्य सोशल मीडिया पर उनके हैंडल के बारे में समय-समय पर जानकारी को अपडेट करने के लिए कहा है.](https://feeds.abplive.com/onecms/images/uploaded-images/2024/05/09/8e705ece2aba551a6452e6be16198973700de.jpg?impolicy=abp_cdn&imwidth=720)
सेबी ने इन्वेस्टमेंट एडवाइजर्स को एक्स (पूर्ववर्ती ट्विटर), फेसबुक, लिंक्डइन समेत विभिन्न अन्य सोशल मीडिया पर उनके हैंडल के बारे में समय-समय पर जानकारी को अपडेट करने के लिए कहा है.
3/5
![सर्कुलर के अनुसार, इन्वेस्टमेंट एडवाइजर्स को हर वित्त वर्ष में दो बार जानकारी मुहैया करानी है. इसके लिए हर वित्त वर्ष में 30 सितंबर और 31 मार्च को दो कट ऑफ डेट तय किया गया है.](https://feeds.abplive.com/onecms/images/uploaded-images/2024/05/09/5f773445a68e4b385b88aaef106d949984396.jpg?impolicy=abp_cdn&imwidth=720)
सर्कुलर के अनुसार, इन्वेस्टमेंट एडवाइजर्स को हर वित्त वर्ष में दो बार जानकारी मुहैया करानी है. इसके लिए हर वित्त वर्ष में 30 सितंबर और 31 मार्च को दो कट ऑफ डेट तय किया गया है.
4/5
![मौजूदा व्यवस्था में इन्वेस्टमेंट एडवाइजर्स एडमिनिस्ट्रेशन एंड सुपरवाइजरी बॉडी एड-हॉक बेसिस पर इन्वेस्टमेंट एडवाइजर्स से उनके सोशल मीडिया हैंडल्स की जानकारियां मंगाती है.](https://feeds.abplive.com/onecms/images/uploaded-images/2024/05/09/c71e8643e27e8360c4cab8ccf269fa6975190.jpg?impolicy=abp_cdn&imwidth=720)
मौजूदा व्यवस्था में इन्वेस्टमेंट एडवाइजर्स एडमिनिस्ट्रेशन एंड सुपरवाइजरी बॉडी एड-हॉक बेसिस पर इन्वेस्टमेंट एडवाइजर्स से उनके सोशल मीडिया हैंडल्स की जानकारियां मंगाती है.
5/5
![इन्वेस्टमेंट एडवाइजर्स के पास जानकारियां जमा करने के लिए हर छह महीने पर कट-ऑफ डेट के सात दिनों के भीतर का समय रहेगा. सेबी ने कहा है कि 7 मई को जारी यह सर्कुलर तत्काल प्रभाव से लागू है.](https://feeds.abplive.com/onecms/images/uploaded-images/2024/05/09/5f46e18adfc3c94832eab7fb4d02ba03c4e9e.jpg?impolicy=abp_cdn&imwidth=720)
इन्वेस्टमेंट एडवाइजर्स के पास जानकारियां जमा करने के लिए हर छह महीने पर कट-ऑफ डेट के सात दिनों के भीतर का समय रहेगा. सेबी ने कहा है कि 7 मई को जारी यह सर्कुलर तत्काल प्रभाव से लागू है.
Published at : 09 May 2024 01:28 PM (IST)
और देखें
Advertisement
ट्रेंडिंग न्यूज
Advertisement
Advertisement
टॉप हेडलाइंस
इंडिया
उत्तर प्रदेश और उत्तराखंड
बॉलीवुड
क्रिकेट
Advertisement
![ABP Premium](https://cdn.abplive.com/imagebank/metaverse-mid.png)
![तहसीन मुनव्वर](https://feeds.abplive.com/onecms/images/author/3df5f6b9316f4a37494706ae39b559a4.jpg?impolicy=abp_cdn&imwidth=70)
तहसीन मुनव्वरवरिष्ठ पत्रकार
Opinion