Prem Chopra Birthday: खलनायक Prem Chopra के ये Dialogues सुनकर थर्रा जातीं थी हीरोइंस, ‘प्रेम नाम है मेरा….प्रेम चोपड़ा’
प्रेम नाम है मेरा.. प्रेम चोपड़ा.. ये सिर्फ एक डॉयलॉग ही नहीं बल्कि एक ऐसी शख्सियत का नाम है जिसने बॉलीवुड में बतौर खलनायक अपना अलग ही नाम बनाया. फिल्मों में उनके नाम से हीरोइंस डर जाया करती थीं. प्रेम चोपड़ा बॉलीवुड के मशहूर खलनायकों में से एक हैं. वो अकेली ऐसी शख्सियत हैं जो इंडस्ट्री के सबसे पुराने कपूर खानदान के हर अभिनेता के साथ अभिनय कर चुके हैं. प्रेम चोपड़ा ने पिछले 60 सालों में 350 से भी ज्यादा फिल्में की हैं. तो चलिए आज हम आपको उनके कुछ मशहूर डॉयलॉग्स सुनाते हैं,
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View In App'प्रेम नाम है मेरा.. प्रेम चोपड़ा' ये डॉयलॉग उन्होने फिल्म बॉबी में बोला था जो आज तक उनके फैंस याद करते हैं.
फिल्म आग का गोला में प्रेम चोपड़ा का पॉपुलर डॉयलॉग था, 'शराफत और ईमानदारी का सर्टिफिकेट ये दुनिया सिर्फ उसी को देती हैं जिसके पास दौलत होती है'
फिल्म कटी पतंग में प्रेम चोपड़ा का डॉयलॉग था, 'कैलाश खुद नहीं सोचता, दूसरों को मजबूर करता हैं सोचने के लिए'.
फिल्म सौतन में प्रेम चोपड़ा ने एक डॉयलॉग बोला था जो काफी मशहूर हुआ था. ये डॉयलॉग है, 'मैं वो बला हूं, जो शीशे से पत्थर को तोड़ता हूं'
फिल्म 'अली बाबा चालीस चोर' में प्रेम चोपड़ा ने कहा था कि 'बादशाहों का अंदाजा बहुत कम गलत होता है.. और जब गलत होता है, तो वो बादशाह नहीं रहते'
खिलाड़ी फिल्म में प्रेम चोपड़ा का बोला ये डॉयलॉग भी काफी पॉपुलर हुआ था जिसमें उन्होने कहा था कि, 'राजनीति की भैंस को चलाने की लिए दौलत की लाठी की जरुरत होती है.'
'जिनके घर शीशे के होते हैं वो बत्ती बुझा कर कपड़े बदलते हैं' प्रेम चोपड़ा के इस डॉयलॉग पर सिनेमा थियेटर में खूब सीटियां बजीं थीं.
गोविंदा की सुपर हिट फिल्म 'राज बाबू' में प्रेम चोपड़ा का सबसे पसंदीदा डॉयलॉग था, 'कर भला तो हो भला'
'सांप के फन उठाने से पहले मैं उसे कुचलना अच्छी तरह से जानता हूं' प्रेम चोपड़ा का मशहूर डॉयलॉग फिल्म 'वारिस' से हैं.
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