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सुनीता विलियम्स धरती से कितनी दूर हैं, वहां पहुंचने में लगता है कितना वक्त?
सुनीता विलियम्स और मिशन कमांडर बुश विलमोर को इंटरनेशनल स्पेस स्टेशन में 8 दिन रुकने के बाद 13 जून को वापस धरती पर लौटना था, लेकिन वो अबतक नहीं लौट पाए हैं.
![सुनीता विलियम्स और मिशन कमांडर बुश विलमोर को इंटरनेशनल स्पेस स्टेशन में 8 दिन रुकने के बाद 13 जून को वापस धरती पर लौटना था, लेकिन वो अबतक नहीं लौट पाए हैं.](https://feeds.abplive.com/onecms/images/uploaded-images/2024/07/06/d22a9763257a24d63275fd83189fc46c1720246255902742_original.jpg?impolicy=abp_cdn&imwidth=720)
सुनीता विलियम्स और मिशन कमांडर बुश विलमोर को स्पेस ले जाने वाला स्पेसक्राफ्ट 5 जून को लॉन्च किया गया था.
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![जिसमें सुनीता विलियम्स स्पेसक्राफ्ट की पायलट हैं और बुश विलमोर मिशन कमांडर हैं. सुनीता विलियम्य और बुश ने ये सफर महज 25 घंटे में पूरा किया.](https://feeds.abplive.com/onecms/images/uploaded-images/2024/07/06/e5fa4c5310dcf569565c18848d9d42ce6a365.jpg?impolicy=abp_cdn&imwidth=720)
जिसमें सुनीता विलियम्स स्पेसक्राफ्ट की पायलट हैं और बुश विलमोर मिशन कमांडर हैं. सुनीता विलियम्य और बुश ने ये सफर महज 25 घंटे में पूरा किया.
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![वैसे स्पेस पहुंचने में काफी समय लगता है लेकिन इतने कम समय में ISS पहुंचने का ये एक रिकॉर्ड भी है. हालांकि दोनों स्पेस में फंस चुके हैं और दोनों की वापसी 9 बार टाली जा चुकी है.](https://feeds.abplive.com/onecms/images/uploaded-images/2024/07/06/18ae147429a0db0f0e61c85a57fa63ac1d8d5.jpg?impolicy=abp_cdn&imwidth=720)
वैसे स्पेस पहुंचने में काफी समय लगता है लेकिन इतने कम समय में ISS पहुंचने का ये एक रिकॉर्ड भी है. हालांकि दोनों स्पेस में फंस चुके हैं और दोनों की वापसी 9 बार टाली जा चुकी है.
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![वहीं सुनीता विलियम्स की पृथ्वी से दूरी की बात करें तो वो फिलहाल अंतरराष्ट्रीय स्पेस स्टेशन धरती में लगभग 300 किलोमीटर की ऊंचाई में मौजूद हैं.](https://feeds.abplive.com/onecms/images/uploaded-images/2024/07/06/1ca490010c19e671bb76cafbdd10d47681a5b.jpg?impolicy=abp_cdn&imwidth=720)
वहीं सुनीता विलियम्स की पृथ्वी से दूरी की बात करें तो वो फिलहाल अंतरराष्ट्रीय स्पेस स्टेशन धरती में लगभग 300 किलोमीटर की ऊंचाई में मौजूद हैं.
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![बता दें कि जब कोई यान धरती से करीब 80 किलोमीटर की ऊंचाई पर धरती के वायुमंडल में एक खास गलियारे से एंट्री करता है, तभी वो सफलतापूर्वक धरती पर लौट पाएगा.](https://feeds.abplive.com/onecms/images/uploaded-images/2024/07/06/495f713dd338b74fcfffd9d7765870363e000.jpeg?impolicy=abp_cdn&imwidth=720)
बता दें कि जब कोई यान धरती से करीब 80 किलोमीटर की ऊंचाई पर धरती के वायुमंडल में एक खास गलियारे से एंट्री करता है, तभी वो सफलतापूर्वक धरती पर लौट पाएगा.
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![यदि इसमें जरा सी भी चूक हुई तो यान ब्रह्मंड में लौट जाएगा और उसका चक्कर लगाता रह सकता है. इसे रीएंट्री कॉरिडोर कहा जाता है.](https://feeds.abplive.com/onecms/images/uploaded-images/2024/07/06/fb54f383be457e562213c68fa3a3ff18e2e9b.jpg?impolicy=abp_cdn&imwidth=720)
यदि इसमें जरा सी भी चूक हुई तो यान ब्रह्मंड में लौट जाएगा और उसका चक्कर लगाता रह सकता है. इसे रीएंट्री कॉरिडोर कहा जाता है.
Published at : 06 Jul 2024 12:48 PM (IST)
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