Navratri 2023: व्रत में साबूदाना खूब खा रहे हैं ? तो पहले जान लीजिए यह असली है या नकली
नवरात्रि के इस पावन अवसर पर पूरे देश में धूम मची हुई है. हर तरफ मां दुर्गी की पूजा अर्चना हो रही है. कुछ लोग इस दौरान 9 दिन का व्रत भी रखते हैं. जिसमें वह फल और साबूदाना ही 9 दिन तक खाते हैं. इस दौरान वह नमक से बनी कोई भी चीज नहीं खाते हैं. खासकर नवरात्रि में ज्यादातर लोग नवरात्रि पर साबूदाना से बने अलग-अलग रेसिपी बनाते हैं जैसे- साबूदाने की खीर, खिचड़ी और टिक्की.
Download ABP Live App and Watch All Latest Videos
View In Appआज हम इस आर्टिकल के जरिए बात करेंगे कि नवरात्रि में इतना ज्यादा जिस साबूदाना का इस्तेमाल होता है. तो कैसे पता चलेगा कि हम जो साबूदाना खा रहे हैं वह असली है या नकली? क्योंकि आजकल हर चीज में मिलावट हो रही है तो साबूदाने में भी मिलावट हो सकती है.
सबसे पहले तो आपकी जानकारी के लिए बता दें कि नकली साबूदाना सोडियम हाइपोक्लोराइट, कैल्शियम सल्फ्यूरिक एसिड, हाइपोक्लोराइट, ब्लीचिंग एजेंट और फॉस्फोरिक एसिड जैसे केमिकल्स से बनता है. ऐसे में इसे खाने से आपके पेट में कई तरह के इंफेक्शन हो सकते हैं. ऐसे में जरूरी यह है कि हमें वक्त रहते यह पता होनी चाहिए कि जो साबूदाना हम खा रहे हैं वह असली है या नकली?
असली साबूदाना चबाने पर आपको चावल जैसा स्वाद लगेगा. जो आपके दांत में चिपक सकता है. ऐसा इसलिए होता है क्योंकि असली साबूदाना में स्टार्च भारी मात्रा में होता है. लेकिन नकली साबूदाना चबाने पर आपको किरकिरा टाइप का लग सकता है.
असली साबूदाना पकने के बाद फैल जाता है. मोटा होता है. लेकिन अगर आप नकली साबूदाना को जलाएंगे तो वह राख के रूप में हो जाएगा और धुआं निकलने लगेगा.असली वाले साबूदाने से खुशबू आने लगती है.
जब आप असली साबूदाना को पानी में डालकर देखेंगे तो उसमें से भारी मात्रा में स्टार्च निकलने लगेगा. वहीं नकली साबूदाना को आप पानी में डालेंगे तो आपको स्टार्च नजर नहीं आएगा. इन तरीकों से आप साबूदाना असली है या नकली के बीच ऐसे फर्क कर सकते हैं.
- - - - - - - - - Advertisement - - - - - - - - -