Kanshi Ram: जब 21 साल की मायावती से बोले थे कांशीराम- तुम्हारे पीछे IAS अफसरों की लाइन लगा दूंगा!
यह किस्सा तब का है जब मायावती सिर्फ 21 साल की थीं. 'बीबीसी हिंदी' की वीडियो रिपोर्ट के मुताबिक, साल 1977 में दोनों की पहली भेंट हुई थी. मायावती तब 21 साल की थीं और दिल्ली के प्राइमरी स्कूल में पढ़ाती थीं.
Download ABP Live App and Watch All Latest Videos
View In Appमायावती तब आईएएस की तैयारी भी कर रही थीं. दिल्ली में तब एक कार्यक्रम के दौरान कांशीराम ने मायावती को भाषण देते सुना था. ऐसा बताया जाता है कि मायावती की आक्रामक स्पीच को सुनकर वह तब बड़े प्रभावित हुए थे.
21 साल की मायावती तब इंदिरा गांधी को हराने वाले राजनारायण से भिड़ गई थीं. कांशीराम इस घटनाक्रम के बाद मायावती के घर पहुंचे और उन्होंने वहां उनसे पूछा, तुम क्या बनना चाहती हो? जवाब आया, आईएएस!
मायावती का जवाब सुनकर कांशीराम ने तब पूछा था, आईएएस बनकर क्या करोगी? इस पर उन्होंने कहा था कि देश की सेवा करना चाहती हैं. मायावती के इस उत्तर को सुनकर कांशीराम ने उनसे बड़ी दिलचस्प बात कही थी.
राजनीति के अछूत सितारा कहलाने वाले कांशीराम तब बोले थे- तुम्हारे इरादे, हौसले और कुछ खासियतें मेरी नजर में आए हैं. मैं तुम्हें एक दिन इतना बड़ा लीडर बना दूंगा कि एक कलेक्टर नहीं बल्कि तमाम कलेक्टर तुम्हारे सामने फाइल लेकर खड़े रहेंगे.
इतना ही नहीं, मायावती से कांशीराम ने यह भी कहा था कि सारे आईएएस उनके पीछे आगे-पीछे घूमेंगे और तब वह दलितों के लिए अच्छा काम कर सकेंगी. हालांकि, कांशीराम के इस प्रस्ताव पर मायावती के पिता नाराज हो गए थे.
मायावती के पिता ने कांशीराम के इस प्रपोजल पर साफ कह दिया था कि उनकी बेटी पॉलिटिक्स में नहीं जाएगी, जिसके बाद उन्होंने पिता से बगावत कर राजनीति की राह चुन ली थी. उन्होंने बसपा के लिए घर तक छोड़ दिया था. चूंकि, उनके पास तब अलग कमरा लेकर रहने के लिए पैसे नहीं होते थे. ऐसे में मायावती बसपा ऑफिस में आकर रहने लगी थीं.
- - - - - - - - - Advertisement - - - - - - - - -