बांग्लादेश पर गिद्ध दृष्टि बनाए हुए था चीन; हो गया कामयाब, विदेश मंत्री एस जयशंकर की नीति पर क्या बोले पप्पू यादव और मनोज झा
बांग्लादेश की राजनीति उथल-पुथल हो चुकी है. प्रधानमंत्री शेख हसीना ने इस्तीफा दिया और देश छोड़कर चली गईं. बांग्लादेश को लेकर विदेश मंत्री एस जयशंकर ने संसद में भाषण दिया, जिसे लेकर मनोज झा, पप्पू यादव और प्रियंका चतुर्वेदी यह क्या कहा आपको बताते हैं.
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View In Appलल्लनटॉप की रिपोर्ट के मुताबिक बांग्लादेश की स्थिति पर विदेश मंत्री एस जयशंकर के बयान पर आरजेडी सांसद मनोज झा ने कहा कि बीते कई हफ्तों से बांग्लादेश की स्थिति पर हमारे प्राइम मिनिस्टर और विदेश मंत्री एस जयशंकर नजर बनाए हुए थे. इसका ब्लूप्रिंट भी बनाया होगा.
उन्होंने कहा कि यह एक मल्टी लेयर आर्किटेक्चर है. एक एक्सट्रीम फिलॉसफी थी. कोटा पर कोर्ट का जजमेंट था. उन्होंने कहा कि हम बीते चुनाव को भी याद करें तो पूरे आर्किटेक्चर को देखकर लगता है कि उसकी परिणति हुई है कि शेख हसीना को देश छोड़ना पड़ा. बांग्लादेश के राष्ट्रपिता की प्रतिमा के साथ दुर्व्यवहार किया गया. इन सब को देखते हुए हमारी सरकार जो भी फैसला लेगी हम उनके साथ हैं. दूसरे देशों के मुकाबले बांग्लादेश से हमारे संबंध बहुत अच्छे रहे हैं.
निर्दलीय सांसद पप्पू यादव ने कहा कि हालात अच्छे नहीं है और हमें ऐसे समय में इंदिरा गांधी की याद आती है. पप्पू यादव ने कहा कि वियतनाम से लेकर नेपाल जैसे पड़ोसी देश शांत बैठे हुए हैं. अमेरिका भी अपनी राजनीति करता है. उन्होंने कहा कि एक-एक करके हमारे पड़ोसी देश हमारे दुश्मन होते चले जाएंगे. इससे पता चलता है कि हमारी पॉलिसी सही नहीं है.
पप्पू यादव ने कहा कि हमें अपने देश के आर्थिक और सुरक्षा की दृष्टिकोण पर काम करने की जरूरत है. उन्होंने कहा कि चीन बांग्लादेश पर गिद्ध दृष्टि डाले हुआ था, जो कि कामयाब हो गया है. हमें सजग रहने की जरूरत है.
शिवसेना (उद्धव ठाकरे गुड) से सांसद प्रियंका चतुर्वेदी ने कहा कि स्थिति बहुत नाजुक है और अभी भी उसी तरह बनी हुई है. विदेश मंत्री का बयान महत्वपूर्ण था. प्रियंका ने कहा कि सरकार बयान के साथ - साथ विपक्ष भी इसे मुद्दे पर आगे बढ़ रहा है. प्रियंका चतुर्वेदी ने कहा कि बांग्लादेश हमारा पड़ोसी देश है और हमारे देश के हित में जो भी निर्णय लेगी, हमें उसे जल्द से जल्द सुनिश्चित करना होगा. बांग्लादेश में भारतीय भी हैं, उनको भी वापस लाना होगा.
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