Pitru Paksha 2024: 'पिंड दान भारतीय संस्कृति का प्रतीक', गया की इन तस्वीरों में देखें सांसद सुधांशु त्रिवेदी का धार्मिक रूप
बीजेपी के राज्यसभा सदस्य सुधांशु त्रिवेदी बुधवार को गया पहुंचे और अपने पूर्वजों का पिंडदान किया. दामोदर पाण्डे के नेतृत्व में उनके परिजनों का पिंडदान कराया गया.
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View In Appइस मौके पर विष्णुपद मंदिर प्रांगण स्थित हनुमान मंदिर और अक्षयवट में मोक्ष और उद्धार की कामना के साथ सुधांशु त्रिवेदी ने अपने पूर्वजों का पिंडदान किया. उन्होंने दोनों स्थानों और विष्णुपद मंदिर के गर्भ गृह में पिंडदान किया.
पिंडदान करा रहे दामोदर पाण्डे ने बताया कि वह पहली बार यहां पिंडदान करने पहुंचे है. पूरे विधि विधान के साथ पिंडदान और श्राद्ध कार्य को पूरा कराया गया है.
पिंडदान के बाद राज्यसभा सदस्य सुधांशु त्रिवेदी ने मीडिया से बातचीत करते हुए कहा कि वह धार्मिक अनुष्ठान में आए हैं. कोई राजनीतिक प्रश्न नहीं पूछे. उन्होंने बताया कि पिंडदान के बाद एक अलग संतुष्टि और श्राद्ध की अनुभूति होती है.
सुधांशु त्रिवेदी ने कहा कि गया की पावन धरती पर विष्णुपद धाम के दर्शन और पिंडदान किया है. यह भारतीय संस्कृति और हिंदू संस्कृति की परंपरा का प्रतीक है.
उन्होंने ये भी कहा कि हम मदर डे और फादर डे नहीं मनाते हैं, बल्कि अपने समस्त पूर्वजों, मित्रों, शुभचिंतकों और सभी जीव जंतुओं के प्रति श्रद्धा के साथ यह पिंडदान करते हैं.
गया में पिछले 17 सितंबर से विश्वप्रसिद्ध पितृपक्ष मेला आयोजित है. जहां देश-विदेश के अलग-अलग कोने से लाखों तीर्थयात्री यहां आकर अपने पूर्वजों की आत्मशांति, मोक्ष और उद्धार के लिए पिंडदान करते हैं.
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