Chhath Pooja 2021: छठी मैय्या को बहुत प्रिय हैं ये 6 फल, दौरा में इसे जरूर रखें
लोकआस्था के महापर्व छठ की आज से शुरुआत हो गई है. तीन दिन तक चलने वाले इस त्योहार का समापन सप्तमी के दिन होगा. पहले दिन नहाय-खाय, दूसरे दिन खरना और तीसर दिन शाम के समय सूर्यदेव को अर्घ्य से चौथे दिन सुबह अर्घ्य के साथ ही छठ का समापन हो जाएगा. छठ पर्व पर छठी मैय्या और सूर्य देव के पूजन का विधान है. इस पूजा में प्रसाद में अलग-अलग फलों को चढ़ाया जाता है. आइए जानते हैं छटी मैय्या को प्रसन्न करने के लिए कौन-कौन से फल चढ़ाने चाहिए.
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View In Appडाभ नींबू या अतर्रा नींबू छठी मैया को चढ़ाया जाता है. ये नींबू सामान्य नींबू से बड़ा होता है. साइज में बड़ा होने की वजह से इसे पशु-पक्षी नहीं खा पाते हैं लेकिन छठी मैया का ये नींबू बेहद पसंद. मैया का आशीर्वाद प्राप्त करने के लिए डाभ नींबू या अतर्रा नींबू जरूर चढ़ाया जाना चाहिए.
केला छठी मईया को बहुत पसंद है. माना जाता है कि केला भगवान विष्णु का भी प्रिय फल है. इसमें विष्णुजी वास करते हैं. केला शुद्ध फल माना जाता है. छई मईया को प्रसन्न करने के लिए लोग कच्चे केले का घोद भी चढ़ाते हैं. पूजा में कच्चे केले को घर लाकर पकाया जाता है ताकि फल झूठा न हो जा
छठ के त्योहार में नारियल चढ़ाने का भी काफी महत्व है. छठ पर्व में पवित्रता का खास ध्यान रखा जाता है. नारियल चढ़ाने से घर में लक्ष्मी आती है. कुछ लोग नारियल चढ़ाने की मन्नत मांगते हैं. कुछ के डाले में कई नारियल होते हैं.
छठ पूजा में नारियल की तरह गन्ने का भी महत्व है. छठ पूजा में गन्ने से बने गुड़ का इस्तेमाल भी प्रसाद में किया जाता है. कई लोग गन्ने का घर बनाते हैं, उसमें पूजा करते हैं. मान्यता है कि छठी मईया घर में सुख–समृद्धि लाती है. छठी मईया को गन्ना बहुत प्रिय है.
छठी मैया को सुथनी भी चढ़ाई जाती है. ये मिट्टी से निकलती है, इसलिए इसे शुद्ध माना जाता है. इसमें कई औषधीय गुण होते हैं. सुथनी खाने में शकरकंदी की तरह होता है. यह फल बहुत शुद्ध माना जाता है इसलिए छठ पूजा में इस्तेमाल होता है.
हिंदू धर्म की किसी भी पूजा में सुपारी का खास महत्व है.किसी भी पूजा का संकल्प बिना पान सुपारी नहीं होता है. सुपारी पर देवी लक्ष्मी का प्रभाव माना जाता है.छठी मैया को भी सुपारी चढ़ाई जाती है.
पानी में रहने के कारण जल सिंघाड़ा सख्त हो जाता है, इसलिए पशु-पक्षी झूठा नहीं कर पाते है. यह लक्ष्मी का प्रिय फल माना जाता है. साथ ही इस फल में बहुत से औषधीय गुण मौजूद होते हैं.
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