In Pics: चुनरी ओढ़ाकर चंबल माता से बांधी रिश्तों की डोर, खुशहाली की कामना की, देखें तस्वीरें
भारतीय नव वर्ष नव संवत्सर 2080 का स्वागत के लिए किशोर सागर बारहद्वारी पर मां चर्मण्यवती को विशाल चुनडी मनोरथ का आयोजन किया गया. आइए तस्वीरों के जरिए इस पूरे आयोजन को देखते हैं. सभी तस्वीरें भेजी हैं दिनेश कश्यप ने.
Download ABP Live App and Watch All Latest Videos
View In Appअध्यक्ष मोहनलाल अग्रवाल और महामंत्री संजय गोयल के मुताबिक श्रीपुरा से बारहद्वारी तक शोभायात्रा निकाली गई.इसमें बैंडबाजे और झांकियां शामिल थीं.
बारहद्वारी पर पहुंचकर पांच पंडितों ने वैदिक मंत्रोच्चार से चंबल माता का पूजन किया. इसके अलावा समाज के 151 परिवारों ने 11 नावों में सवार होकर 5100 फीट की चुनरी चंबल को ओढ़ाई और खुशहाली की कामना की.
इस शोभा यात्रा के दौरान बनाई गई रंगोलियों में भारत की संस्कृति के साथ हिंदू नववर्ष की बधाई का संदेश दिया गया.
चुनरी ओढाने के बाद 101 दीपक से चंबल की महाआरती और दीपदान किया गया.इस दौरान भक्तों ने मां चर्मण्यवती के जयकारे लगाए.
चंबल को राजस्थान की जीवन दायनी नदी माना जाता है. यह कोटा के लिए वरदान भी है.मान्यता है कि अपनी मां को चुनरी ओढ़ाकर उसे नमन करना तथा मां के प्रति कृतज्ञता प्रकट करना पुत्र का कर्तव्य है.
चंबल माता को चुनरी ओढ़ाने की खुशी में श्रद्धालु परिवार समेत बैंड बाजा की धुनों में नाचते हुए,घूमर नृत्य और डांडिया रास करते हुए चल रहे थे.
- - - - - - - - - Advertisement - - - - - - - - -