Janmashtami 2023: वाराणसी के इस्कॉन मंदिर में जन्माष्टमी की धूम, तस्वीरों में देखें भक्ति के अलग-अलग रंग
भगवान शिव की नगरी काशी में श्री कृष्ण जन्मोत्सव का उमंग देखा जा रहा है. वाराणसी के इस्कॉन मंदिर में भक्त सुबह से कृष्ण की भक्ति में लीन हैं. आज 6 सितंबर को गृहस्थ जीवन में रहने वाले लोग बाल गोपाल का जन्मोत्सव धूमधाम से मना रहे हैं.
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View In Appइस्कॉन मंदिर में भजन कीर्तन का दौर चल रहा है. भगवान श्री कृष्ण की लीलाओं की भी चर्चा हो रही है. इस्कॉन मंदिर के पुजारी गोविंद दास ने बताया कि भगवान श्री कृष्ण ने विभिन्न लीलाओं से पूरे विश्व को अच्छे मार्ग पर चलने की प्रेरणा दी है.
उन्होंने कहा कि बाल गोपाल का जन्मोत्सव पर हम सभी को भी अच्छे मार्ग पर चलने का संकल्प लेना चाहिए. इस्कॉन मंदिर में भगवान श्री कृष्ण की रंग-बिरंगी झांकियां भी लगी हैं.
दूर दराज से श्रद्धालुओं के आने का सिलसिला देर रात तक जारी रहेगा. इस्कॉन मंदिर की सजावट देखते ही बनती है. श्रद्धालु इस्कॉन मंदिर में भगवान श्री कृष्ण का दर्शन करने के लिए पहुंच रहे हैं.
जन्माष्टमी के मौके पर महिलाओं में भी खासा उत्साह देखा जा रहा है. हिंदू धर्म में श्री कृष्ण जन्माष्टमी का विशेष महत्व है. भगवान श्रीकृष्ण का जन्मदिन जन्माष्टमी के रूप में मनाया जाता है.
जानकारों के अनुसार इस साल अष्टमी तिथि और रोहिणी नक्षत्र दोनों का साथ होना संयोग है. इसलिए बाल गोपाल का जन्मोत्सव 6 और 7 सितंबर दोनों दिन मनाया जाएगा.
दो अलग-अलग दिनों में विधि विधान से पूजन करते हुए भगवान कृष्ण का जन्मोत्सव मना जा सकता है. देश के सभी राज्यों में अलग-अलग तरीके से महापर्व को मनाया जाता है.
बच्चे-बूढ़े और जवान आराध्य कृष्ण की महिमा का गुणगान करते हैं. मान्यता है कि जन्माष्टमी पर व्रत के साथ भगवान की पूजा और दान करने से मनोकामना पूरी होती है.
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