Allan Border Has Parkinson's Disease: ऑस्ट्रेलियाई टीम के पूर्व कप्तान एलन बॉर्डर ने अपने स्वास्थ्य को लेकर एक ऐसा खुलासा किया जिससे उनके सभी फैंस काफी हैरानी में पड़ गए हैं. बॉर्डर ने बताया कि वह पार्किंसन के रोग से पीड़ित हैं और यदि वह 80 साल की उम्र तक जीवित रह जाते हैं तो यह किसी चमत्कार से कम नहीं होगा. बॉर्डर ने यह भी बताया कि उन्हें इस बीमारी के बारे में साल 2016 में ही पता चल गया था.


एलन बॉर्डर ने न्यूजकॉर्प को दिए अपने बयान में बताया कि मैने जब न्यूरोसर्जन को दिखाया तो उन्होंने मुझे बताया कि मैं पार्किंसन रोग से पीड़ित हूं. मैं नहीं चाहता था कि लोग मुझे लेकर दुख प्रकट करें. लोग परेशान होते हैं या नहीं यह आप नहीं जानते, लेकिन एक दिन ऐसा आएगा कि लोग आपको नोटिस करेंगे. मुझे लगता है कि मेरी स्थिति अन्य लोगों से काफी बेहतर है. मैं अभी 68 साल का हूं और 80 साल तक जीवित रहा तो यह चमत्कार से कम नहीं होगा.


पार्किंसन बीमारी को लेकर बात की जाए तो यह मूवमेंट डिसऑर्डर है. इसमें पीड़ित व्यक्ति के हाथ या पैर से दिमाग में पहुंचने वाली नसें काम करना बंद कर देती हैं. यह बीमारी धीरे-धीरे पता चल पाती है और इसके लक्षण पहचानना कई बार मुश्किल भी होता है.


ऑस्ट्रेलिया क्रिकेट के महान कप्तानों में से एक


एलन बॉर्डर की गिनती ऑस्ट्रेलिया क्रिकेट के महान कप्तानों में जाती है. उन्होंने ऑस्ट्रेलिया के लिए साल 1979 से लेकर 1994 तक 156 टेस्ट मैच खेले. इसमें से 93 में बॉर्डर ने टीम की कप्तानी भी की. टेस्ट फॉर्मेट में 11,000 रन बनाने वाले वह पहले खिलाड़ी थे. ऑस्ट्रेलियाई टीम ने जब साल 1987 में वर्ल्ड कप को पहली बार अपने नाम किया था तो उस समय एलन बॉर्डर ही टीम के कप्तान थे. भारत और ऑस्ट्रेलिया के बीच खेली जाने वाली सीरीज उनके और सुनील गावस्कर के नाम पर ही बॉर्डर-गावस्कर ट्रॉफी इसे नाम दिया गया.


 


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