भारतीय क्रिकेट बोर्ड ने सीनियर विकेटकीपर बल्लेबाज़ रिद्धिमान साहा को एक पत्रकार से कथित तौर पर धमकी मिलने के मामले में जांच के लिए तीन सदस्यीय समिति का गठन किया है. बता दें कि साहा ने कुछ दिनों पहले एक व्हाट्सएप चैट शेयर की थी, जिसमें एक पत्रकार ने उन्हें इंटरव्यू न देने के लिए धमकाया था. हालांकि, साहा ने पत्रकार का नाम उजागर नहीं किया था. 


सूत्रों के मुताबिक, अब साहा पत्रकार की पहचान उजागर करने के लिए तैयार हैं और उन्होंने जांच के लिए अपनी सहमति दे दी है. हालांकि, इससे पहले साहा ने कहा था कि वह किसी भी सूरत में पत्रकार का नाम नहीं बताएंगे. कुछ दिन पहले उन्होंने बिना नाम लिए पत्रकार को चेतावनी भी दी थी. 


बीसीसीआई ने गठित की तीन सदस्यीय समिति


बीसीसीआई ने तीन सदस्यीय समिति में बोर्ड उपाध्यक्ष राजीव शुक्ला, बोर्ड के कोषाध्यक्ष अरुण सिंह धूमल और शीर्ष परिषद सदस्य प्रभातेज सिंह भाटिया को शामिल किया है. यह समिति अगले हफ्ते से इस मामले की जांच करेगी. 


गौरतलब है कि घटना के बाद वीरेंद्र सहवाग और हरभजन सिंह सहित क्रिकेट जगत साहा के समर्थन में उतर आया था. वहीं भारतीय क्रिकेटर्स एसोसिएशन ने एक बयान जारी किया था और संस्था ने पत्रकार द्वारा साहा को भेजे गए धमकी भरे मैसेजो की निंदा की थी.


क्या है धमकी विवाद?


दरअसल, कुछ दिनों पहले बीसीसीआई ने श्रीलंका के खिलाफ टेस्ट सीरीज के लिए भारतीय टीम का एलान किया था. टीम से साहा को ड्रॉप कर दिया गया था. इसके कुछ घंटों बाद साहा ने ट्विटर पर पत्रकार से वाट्सएप बातचीत का स्क्रीनशॉट शेयर कर धमकी मिलने का आरोप लगाया था. साहा ने लिखा था, भारतीय क्रिकेट में मेरे सभी योगदानों के बाद, एक तथाकथित सम्मानित पत्रकार से मुझे इसका सामना करना पड़ता है. पत्रकारिता कहां चली गई है.


पत्रकार द्वारा भेजे गये संदेश में पत्रकार का लहजा धमकाने वाला था, ''तुमने कॉल नहीं किया. मैं कभी भी तुम्हारा इंटरव्यू नहीं करूंगा. मैं अपमान को सहजता से नहीं लेता और मैं इसे याद रखूंगा.''