विश्व कप के बाद भारतीय क्रिकेट टीम वेस्टइंडीज के खिलाफ अपना पहला बायलेटरल सीरीज खेलने के लिए तैयार है. भारत वेस्टइंडीज के खिलाफ तीन टी-20, तीन वनडे और दो टेस्ट मैचों की सीरीज खेलेगी. सरीज का आगाज टी-20 मुकाबले से हो रहा है. टी-20 सीरीज के पहले दो मुकाबले अमेरिका में खेले जाएंगे जबकि आखिरी मैच वेस्टइंडीज में होगा. अब इस सीरीज के साथ ही भारतीय क्रिकेट कंट्रोल बोर्ड में एक नया विवाद उठ खड़ा हुआ है.

दअअसल बीसीसीआई के अधिकारियों ने मुख्य कार्यकारी अधिकारी (सीईओ) राहुल जौहरी के टीम के साथ अमेरिका जाने पर सवाल उठाया है. हालांकि राहुल जौहरी ने इस पर तर्क दिया है कि वह क्रिकेट वेस्टइंडीज के साथ भविष्य के दौरों पर चर्चा करने के लिए वहां जा रहे हैं, लेकिन बोर्ड के अधिकारी जौहरी के जाने से इसलिए हैरान हैं क्योंकि उन्होंने हाल ही में विश्व कप के खत्म होने के बाद लंदन में हुई आईसीसी की सालाना बैठक में विंडीज बोर्ड के अधिकारियों से बात की थी.

बीसीसीआई के एक अधिकारी ने कहा है कि प्रशासकों की समिति (सीओए) सीईओ की मदद करने के लिए सीमाओं से आगे जा रही है.

अधिकारी ने कहा है कि सीईओ का अमेरिका जाना नई बात नहीं है बल्कि इस सीओए का राहुल जौहरी को समर्थन देना इस तरह की बातें अब आम हो गई हैं.

अधिकारी ने कहा, "सीओए ने अलग हटकर सीईओ को मदद दी है और इसके कारण वही जानते हैं. तीन उदाहरण हमारे सामने हैं. पहला जिस तरह जौहरी पर लगे यौन शोषण के आरोपों के मुद्दे को संभाला गया. सीईओ को पांच करोड़ का बोनस देना वो भी तब जब उन्होंने इसके लिए तय मानकों को हासिल नहीं किया और तीसरा उनके यातायात को मंजूरी देना."

अधिकारी ने कहा, "अब वह अमेरिका जा रहे हैं जिसका कोई वाजिब कारण नजर नहीं आता. ऐसा पता चला है कि वह अकेले नहीं जा रहे हैं उनके साथ स्टाफ है. हमें लगा था कि आईसीसी की सालाना बैठक खत्म हो गई है."