भुवनेश्वर कुमार की मांग, आईसीसी को तलाशने चाहिए गेंद चमकाने के और विकल्प
कोरोना वायरस की वजह से आईसीसी ने गेंद पर सलाइवा का इस्तेमाल रोक दिया है. इस बदलाव की वजह से तेज गेंदबाजों को रिवर्स स्विंग हासिल करने में परेशानी का सामना करना पड़ सकता है.
कोरोना वायरस की वजह के क्रिकेट पर बेहद बुरा असर पड़ा है. पिछले चार महीनों में इंटरनेशनल क्रिकेट नहीं खेला गया है. इतना ही नहीं इंटरनेशनल क्रिकेट काउंसिल को कोरोना वायरस की वजह से खेल के नियमों में बदलाव करना पड़ा है. आईसीसी ने क्रिकेट में गेंद पर सलाइवा का इस्तेमाल रोक दिया है. हालांकि गेंदबाज गेंद चमकाने के लिए पसीने का इस्तेमाल कर सकते हैं. लेकिन भारतीय टीम के तेज गेंदबाज भुवनेश्वर कुमार का मानना है कि ऐसा हर जगह कर पाना मुमकिन नहीं है.
भुवी का मानना है कि विश्व में हर जगह गेंद को चमकाने के लिए पसीने का इस्तेमाल नहीं किया जा सकता क्योंकि ऐसी भी जगहें हैं जहां ज्यादा पसीना नहीं निकलता. भुवनेश्वर ने पहले कहा था कि सलाइवा बैन के बाद आईसीसी को गेंद को चमकाने के लिए कुछ और विकल्प के बारे में सोचना होगा.
कुमार ने कहा, "विश्व में हर जगह पसीना आए, यह संभव नहीं है. निश्चित तौर पर यह चुनौतीपूर्ण होने वाला है. उम्मीद है कि चीजें जल्दी ठीक हो जाएंगी." इससे पहले भुवनेश्वर ने कहा था, "मुझे उम्मीद है कि आईसीसी कुछ आर्टिफिशियल तरीका लेकर सामने आएगी जिससे हम गेंद को चमका सकें. आप जब स्विंग होने वाले परिस्थितियों में जैसे इंग्लैंड में गेंदबाजी करते हैं तो आपको इसकी जरूरत होती है."
बता दें कि चार महीने के अंतराल के बाद इंग्लैंड और वेस्टइंडीज के बीच खेली जा रही टेस्ट सीरीज से इंटरनेशनल क्रिकेट की वापसी हुई है. इंग्लैंड और वेस्टइंडीज सीरीज में पहली बार आईसीसी द्वारा बदले गए नियम प्रभावी हुए हैं. इंग्लैंड और वेस्टइंडीज के बीच खेली जा रही इस सीरीज में गेंदबाज गेंद चमकाने के लिए सलाइवा का इस्तेमाल नहीं कर रहे.
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