कोरोना वायरस के खतरे के बीच 117 दिन के बाद इंग्लैंड और वेस्टइंडीज के बीच खेले जा रहे पहले टेस्ट से इंटरनेशनल क्रिकेट की वापसी हुई है. ब्लैक लाइव्स मेटर आंदोलन की वजह से भी यह टेस्ट मैच चर्चा में है. इस टेस्ट मैच में ब्लैक लाइव्स मैटर आंदोलन का समर्थन करने के लिए दोनों के खिलाड़ी अपने डर्स पर स्पेशल लोगो के साथ उतरे हैं. वेस्टइंडीज के पूर्व तेज गेंदबाज माइकल होल्डिंग ने नस्लवाद पर कड़ा संदेश देते हुए कहा कि ब्लैक लाइव्स मैटर आंदोलन समानता के बारे में है.


स्काई स्पोर्ट्स ने सोशल मीडिया पर एक पोस्ट डाली है, जिसमें होल्डिंग ने इंग्लैंड और वेस्टइंडीज के बीच पहले टेस्ट मैच के शुरू होने से पहले यह बात कही. होल्डिंग ने इंग्लैंड के पूर्व क्रिकेटर एबनी रेनफोर्ड से बातचीत में कहा कि लोगों को समझना होगा कि अश्वेत लोगों की जिंदगी भी महत्वपूर्ण है.


होल्डिंग ने कहा, "कई साल पहले भी विरोध में, यहां तक कि जब मार्टिन लूथर किंग मार्च कर रहे थे, आप पाएंगे कि अधिकांश अश्वेत और कुछ ही श्वेत चेहरे इनमें होते थे. लेकिन, इस बार इन विरोध प्रदर्शनों में बहुत सारे गोरे लोग शामिल हैं और यह अंतर है."



उन्होंने कहा, "हम सब इंसान हैं, इसलिए मुझे उम्मीद है कि लोग समझेंगे कि ये ब्लैक लाइव्स मैटर आंदोलन सिर्फ अश्वेत लोगों के लिए नहीं है. ये किसी को किसी से ऊपर करने वाली बात नहीं है. ये समानता को लेकर है."


इंग्लैंड के खिलाफ सीरीज से पहले ही वेस्टइंडीज ने ब्लैक लाइव्स मैटर आंदोलन के समर्थन में अपनी ड्रेस पर लोगो लगाने का एलान कर दिया था. वेस्टइंडीज की इस पहल को इंग्लैंड क्रिकेट बोर्ड और आईसीसी ने भी समर्थन दिया.


बता दें कि दो महीने पहले अमेरिकी अश्वेत जॉर्ज फ्लॉयड की हत्या के बाद दुनियाभर में ब्लैक लाइव्स मैटर आंदोलन की शुरुआत हुई. आंदोलन के समर्थन में शुरुआत से ही वेस्टइंडीज के खिलाड़ी मजबूती के साथ खड़े रहे हैं.


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