वेस्टइंडीज और इंग्लैंड के बीच 8 जुलाई से तीन मैचों की टेस्ट सीरीज शुरू होने जा रही है. वेस्टइंडीज की टीम इस सीरीज में ब्लैक लाइव्स मैटर का लोगो लगाकर मैदान पर उतरने का एलान कर चुकी है. वेस्टइंडीज के बाद इंग्लैंड क्रिकेट टीम ने भी सीरीज में ब्लैक लाइव्स मैटर का लोगो लगाकर सीरीज में हिस्सा लेने की बात कही है. यह फैसला इंग्लैंड एंड वेल्स क्रिकेट बोर्ड ने लिया है जिसे टेस्ट टीम के नियमित कप्तान जोए रूट और पहले टेस्ट में टीम के कार्यवाहक कप्तान बेन स्टोक्स ने समर्थन दिया है.
ईसीबी के सीईओ टॉम हैरिसन ने कहा, "ईसीबी पूरी तरह से उस संदेश के साथ है जो ब्लैक लाइव्स मैटर आंदोलन देता है. यह एकता और समाजिक बदलाव का संदेश बन गया है. समाज और खेल में नस्लवाद की कोई जगह नहीं हो सकती और हमें इसे रोकने के लिए कदम उठाने चाहिए."
वहीं रूट ने कहा, "अश्वेत समुदाय के साथ समर्थन दिखाना और एकता तथा न्याय जैसे मुद्दों के प्रति जागरूकता फैलाना काफी अहम है. इंग्लैंड के खिलाड़ी और प्रबंधन इसके लिए एक साथ हैं और अंतर्राष्ट्रीय क्रिकेट के मंच को इस आंदोलन के संदेश को साझा करने में मदद करेंगे."
दो महीने पहले हुए ब्लैक लाइव्स मैटर आंदोलन का जन्म
हाल ही में अमेरिका में अश्वेत शख्स जॉर्ज फ्लॉयड की पुलिस हिरासत में मौत हो गई थी जिसके बाद पूरे विश्व में आक्रोश देखा गया और यहीं से ब्लैक लाइव्स मैटर नाम के आंदोलन का जन्म हुआ. इस आंदोलन के बाद वेस्टइंडीज टीम से जुड़े हुए क्रिकेटर्स ने क्रिकेट में होने वाले नस्लवाद का कड़ा विरोध जताया. खिलाड़ियों ने उन अनुभवों को भी फैंस के साथ शेयर किया जब उन्हें मैदान पर नस्लभेद का सामना करना पड़ा.
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