मुंबई: कप्तान विराट कोहली और नौवें नंबर के बल्लेबाज जयंत यादव की आठवें विकेट के लिए रिकॉर्ड साझेदारी के बाद गेंदबाजों के शानदार प्रदर्शन के दम पर टीम इंडिया ने चौथे टेस्ट में इंग्लैंड के खिलाफ शिकंजा कस लिया है. भारत ने चौथे दिन 231 रन की बढ़त ली जिसके जवाब में चौथे दिन का खेल खत्म होने तक मेहमान टीम के 6 विकेट 182 रन पर पवेलियन लौट गए. उसे पारी की हार से बचने के लिये अब भी 49 रन की दरकार है.


जो रूट (77) और जोनी बेयरस्टॉ (नाबाद 50) ने उसकी तरफ से अर्द्धशतक जमाए. रविंद्र जडेजा (58 रन देकर दो विकेट) और रविचंद्रन अश्विन (49 रन देकर दो विकेट) की जोड़ी ने इंग्लैंड की पारी झकझोरने में अहम भूमिका निभायी जबकि भुवनेश्वर कुमार और जयंत ने एक-एक विकेट लिया है.


भारत ने इससे पहले कोहली (235) और जयंत (104) के बीच आठवें विकेट के लिए 241 रन की रिकॉर्ड साझेदारी से अपनी पहली पारी में 631 रन बनाये जो उसका इंग्लैंड के खिलाफ दूसरा उच्चतम स्कोर है. इंग्लैंड ने अपनी पहली पारी में 400 रन बनाए थे.


कोहली ने साल का तीसरा दोहरा शतक जमाया और ऐसा कारनामा करने वाले दुनिया के पांचवें बल्लेबाज बने. उन्होंने अपनी पारी में 340 गेंदें खेली तथा 25 चौके और एक छक्का लगाया. जयंत नौवें नंबर पर बल्लेबाजी करते हुए टेस्ट मैचों में शतक जड़ने वाले पहले भारतीय और कुल 15वें बल्लेबाज बने. उन्होंने 204 गेंदों की अपनी पारी में 15 चौके लगाये. इंग्लैंड पहले ही इन दोनों के बीच रिकॉर्ड साझेदारी से बैकफुट पर चला गया था. ऐसे में उसकी शुरूआत भी अच्छी नहीं रही. उसने टी से पहले ही पहली पारी में शतक जड़ने वाले कीटन जेनिंग्स (शून्य), कप्तान एलिस्टेयर कुक (18) और मोईन अली (शून्य) के विकेट गंवा दिए जिससे स्कोर तीन विकेट पर 49 रन हो गया. कुक का विकेट जडेजा का टेस्ट मैचों में 100वां विकेट था.


भुवनेश्वर ने पारी के पहले ओवर में ही अपना पहला टेस्ट मैच खेल रहे जेनिंग्स को पगबाधा आउट कर दिया. जडेजा ने इसके बाद कुक को पगबाधा आउट किया और फिर टी से पहले आखिरी ओवर में मोईन को गली में मुरली विजय के हाथों कैच कराया. रूट पूरे दबदबे के साथ बल्लेबाजी कर रहे थे. जयंत जब गेंदबाजी के लिए आए तो उनके पहले ओवर में भारत ने रूट के खिलाफ डीआरएस का सहारा लिया लेकिन वह इसका फायदा नहीं उठा पाये और अपने स्कोर में पांच रन और जोड़ने के बाद इस ऑफ स्पिनर की गेंद पर पगबाधा हो गये. रूट ने 112 गेंदें खेली तथा 11 चौके लगाये.


भारत ने जल्द ही अपने दोनों रिव्यू समाप्त कर दिये थे और इसलिए बाद में कुछ विश्वसनीय अपीलों के ठुकराये जाने पर उसके पास अंपायर के फैसले को मानने के अलावा कोई विकल्प नहीं बचा था. बेन स्टोक्स (18) इस तरह की एक अपील से बचे लेकिन अश्विन के अगले ओवर में रिवर्स स्वीप करने के प्रयास में गेंद उनके बल्ले और फिर जूते से लगकर दूसरी स्लिप में विजय के पास पहुंच गयी. अश्विन ने दिन के आखिरी ओवर में नाइट वाचमैन (दो) को भी पवेलियन भेजा.


इससे पहले कोहली एक पारी में सर्वोच्च स्कोर बनाने वाले भारतीय कप्तान बने. जयंत ने उनका अच्छा साथ दिया. इन दोनों ने आठवें विकेट के लिए मोहम्मद अजहरूद्दीन और टीम के वर्तमान कोच अनिल कुंबले का 20 साल पुराना रिकॉर्ड तोड़ा. अजहर और कुंबले ने 1996 में कोलकाता में दक्षिण अफ्रीका के खिलाफ 161 रन की साझेदारी की थी. इन दोनों ने भारत और इंग्लैंड के बीच आठवें विकेट के लिये सबसे बड़ी साझेदारी का भी नया रिकॉर्ड बनाया. इससे पहले यह रिकॉर्ड रे इलिंगवर्थ और पीटर टेलर के नाम पर था जिन्होंने 1971 में मैनचेस्टर में 168 रन जोड़े थे.


कोहली ने लंच से पहले मिडविकेट पर एक रन लेकर अपने करियर का तीसरा दोहरा शतक पूरा किया. उनसे पहले एक कैलेंडर वर्ष में तीन या इससे अधिक दोहरे शतक माइकल क्लार्क (चार), डॉन ब्रैडमैन, रिकी पोंटिंग और ब्रैंडन मैकुलम (सभी तीन) ने बनाये थे.


जयंत ने लंच के बाद क्रिस वोक्स की गेंद पर थर्डमैन क्षेत्र में एक रन लेकर अपना शतक पूरा किया. इसके बाद हालांकि वह ज्यादा देर तक नहीं टिक पाये. तब भारत का स्कोर 605 रन था तथा कोहली और जयंत इंग्लैंड के खिलाफ किसी भी देश की तरफ से आठवें विकेट के लिये सबसे बड़ी भागीदारी करने के करीब थे. ऑस्ट्रेलिया के एम जे हार्टिगन और क्लेम हिल ने 1908 में 243 रन की साझेदारी की थी.


जयंत ने लेग स्पिनर रशीद की गेंद पर लंबा शॉट खेलना चाहा लेकिन वह चूक गये और बेयरस्टॉ ने उन्हें स्टंप आउट कर दिया. कोहली ने पहले ही तेजी दिखानी शुरू कर दी थी. वह इसके दस रन बाद पवेलियन लौट गये. उन्होंने वोक्स की गेंद डीप एक्स्ट्रा कवर में हवा में खेली जहां जेम्स एंडरसन ने उसे कैच में बदला. कोहली की मैराथन पारी का अंत होने पर इंग्लैंड के क्षेत्ररक्षकों ने भी उन्हें बधाई दी. रशीद ने भुवनेश्वर कुमार को आउट करके भारतीय पारी का अंत किया. रशीद ने अपने चार विकेट के लिये 192 रन लुटाये और इस तरह से वह भारत के खिलाफ इंग्लैंड की तरफ से एक पारी में सबसे अधिक रन देने वाले गेंदबाज बने. मोईन ने 174 रन देकर दो जबकि जो रूट ने 31 रन देकर दो विकेट लिये. वोक्स और जैक बॉल को एक-एक विकेट मिला.