बीते दिन भारतीय क्रिकेट टीम अफगानिस्तान के खिलाफ जीत के साथ सुपर फोर का अंत नहीं कर सकी. लेकिन इस मुकाबले में एशिया कप में अपना पहला मैच खेल रहे केएल राहुल ने एक शानदार अर्धशतक जमाया.


हालांकि राहुल कल एक ऐसी गलती हुई जिसके बाद सोशल मीडिया पर उन पर खूब सवाल उठाए गए. केएल राहुल ने कल मैच में अपना विकेट बचाने के लिए एक ऐसा डीआरएस लिया जो बेकार चला गया. इसके बाद राहुल के इस डीआरएस को गंवाने के बाद एमएस धोनी और दिनेश कार्तिक को आउट दिया गया जिससे वो अपने विकेट बचाने के लिए डीआरएस का उपयोग नहीं कर सके.


राहुल ने मैच के बाद कहा, 'बिल्कुल पीछे मुढ़कर देखने पर मुझे लगता है कि मुझे वो उस वक्त नहीं लेना चाहिए थे. लेकिन उस समय मुझे लगा कि गेंद विकेटों के बाहर लगी है और मुझे डीआरएस लेना चाहिए.'


राहुल ने कहा, 'कई बार बाद में देखने पर लगा कि मुझे पिछले बल्लेबाज़ों के लिए रिव्यू छोड़ देना चाहिए थे लेकिन मुझे लगा कि गेंद बाहर लगी है इसलिए मैंने चांस लिया.'


इसके अलावा राहुल के लिये यह ‘निराशाजनक’ है कि 2016 में पदार्पण करने के बाद से लेकर अब तक वह केवल 13 वनडे ही खेल पाये हैं लेकिन उन्होंने स्वीकार किया टीम में एक एक स्थान के लिये कड़ी प्रतिस्पर्धा है और ऐसे में वह खीझकर चुपचाप बैठे नहीं रह सकते हैं.


राहुल ने एशिया कप में अफगानिस्तान के खिलाफ टाई छूटे मैच के बाद संवाददाताओं से कहा, ‘‘मैं जानता हूं कि मुझे अपने खेल पर काम करना है. जैसी भी स्थिति हो मुझे उसका सर्वश्रेष्ठ उपयोग करना है. कई बार यह निराशाजनक होता है लेकिन जिस तरह की प्रतिस्पर्धा है उसमें किसी का भी स्थान पक्का नहीं है.’’


उन्होंने कहा, ‘‘इसलिए आपको अपनी बारी का इंतजार करना होता है. आपको धैर्य बनाये रखकर कड़ी मेहनत करनी होती है. जब मैं खेल नहीं रहा होता हूं तो मैं चुपचाप बैठकर खीझ सकता हूं कि मैं क्यों नहीं खेल रहा हूं, लेकिन मैं उस समय का उपयोग अपनी फिटनेस और खेल सुधारने में करता हूं.’’


राहुल का वनडे करियर भले ही 13 मैच का हो लेकिन वह बल्लेबाजी क्रम में चार भिन्न स्थानों पर बल्लेबाजी कर चुके हैं. इनमें से सात बार वह पारी का आगाज करने के लिये उतरे. राहुल ने कहा कि शीर्ष क्रम में बल्लेबाजी करने में वह सहज महसूस करते हैं.


उन्होंने कहा, ‘‘बल्लेबाजी क्रम में विभिन्न स्थानों पर खेलना चुनौतीपूर्ण है. मैं जूनियर क्रिकेट से ही शीर्ष क्रम में खेलता रहा हूं और यह मेरे लिये सबसे सहज स्थान है.’’


राहुल ने कहा, ‘‘लेकिन टीम वाले खेल में आपको को लचीला होना पड़ता है तथा टीम को आपको जो भी जिम्मेदारी सौंपे उसे स्वीकार करके अपना सर्वश्रेष्ठ प्रदर्शन करना होता है. दुर्भाग्य से मध्यक्रम में मुझे जो मौके मिले वह मेरे लिये अनुकूल नहीं रहे.’’