AFG vs NZ: BCCI ने कर रखा है बैन, फिर भी अफगानिस्तान ने क्यों बनाया ग्रेटर नोएडा स्टेडियम को अपना होम ग्राउंड?
Greater Noida Stadium: अफगानिस्तान और न्यूजीलैंड के बीच एकमात्र टेस्ट मैच की मेजबानी करने वाला ग्रेटर नोएडा स्टेडियम पिछले कुछ दिनों से चर्चा में है. इसे लेकर कई सवाल भी उठ रहे हैं.
AFG vs NZ Greater Noida Stadium Controversy: ग्रेटर नोएडा के शहीद विजय पथिक स्पोर्ट्स कॉम्प्लेक्स ग्राउंड पर अफगानिस्तान और न्यूजीलैंड के बीच खेला जा रहा एकमात्र टेस्ट मैच शुरू से ही विवादों में घिर गया है. सवाल उठ रहे हैं कि बीसीसीआई द्वारा पहले से बैन इस स्टेडियम को अफगान टीम ने अपना होम ग्राउंड क्यों बनाया. यह टेस्ट मैच 9 सितंबर से शुरू होना था. आपको बता दें कि इस टेस्ट मैच के लिए बीसीसीआई ने अफगानिस्तान क्रिकेट बोर्ड को तीन स्टेडियम का विकल्प दिया था. लेकिन अफगानिस्तान ने बैन ग्रेटर नोएडा स्टेडियम को अपना होम ग्राउंड चुना.
बैन के बाद भी अफगानिस्तान ने क्यों बनाया ग्रेटर नोएडा स्टेडियम को अपना होम ग्राउंड?
दरअसल, अफगानिस्तान की राजनीतिक स्थिति के कारण वे अपने देश में अंतरराष्ट्रीय मैच नहीं खेल पाते हैं. ऐसे में बीसीसीआई ने उन्हें कानपुर, बेंगलुरु और ग्रेटर नोएडा के स्टेडियमों की पेशकश की थी. ग्रेटर नोएडा स्टेडियम पर बीसीसीआई ने पहले भी प्रतिबंध लगाया हुआ है, फिर भी यह मैच की मेजबानी कर रहा है. इंडियन एक्सप्रेस की एक रिपोर्ट के अनुसार, एसीबी ने पहले लखनऊ या देहरादून के किसी स्टेडियम में मैच की मेजबानी करने की मांग की थी. लेकिन बीसीसीआई ने यह कहते हुए उनके अनुरोध को ठुकरा दिया कि दोनों स्टेडियम राज्य स्तरीय टी20 लीग की मेजबानी कर रहे हैं. इसके बाद ग्रेटर नोएडा स्टेडियम ही एकमात्र विकल्प बचा था.
स्पोर्टस्टार की रिपोर्ट के मुताबिक बीसीसीआई ने एसीबी को कानपुर, बेंगलुरु और ग्रेटर नोएडा का विकल्प दिया था. लेकिन अफगानिस्तान ने ग्रेटर नोएडा को चुना क्योंकि यह दिल्ली के करीब है, जिससे काबुल से यहां आना आसान है. काबुल से दिल्ली के लिए सीधी फ्लाइट है.
ग्रेटर नोएडा स्टेडियम पर बीसीसीआई ने क्यों लगाया था बैन?
2017 में, बीसीसीआई ने ग्रेटर नोएडा स्टेडियम पर बैन लगा दिया था. यह निर्णय तब लिया गया जब बीसीसीआई की एंटी करप्शन यूनिट ने पाया कि स्टेडियम एक निजी टी20 लीग के मैचों की मेजबानी कर रहा था, जिस पर मैच फिक्सिंग का आरोप था. हालाँकि, 2016 में, स्टेडियम को इंटरनेशनल क्रिकेट काउंसिल (ICC) से इंटरनेशनल स्टेडियम का दर्जा मिला, और अफगानिस्तान ने यहाँ अपने घरेलू मैच खेले.
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