नई दिल्ली/पुणे: भुवनेश्वर कुमार समेत भारतीय गेंदबाज़ों के बेहतरीन प्रदर्शन की मदद से टीम इंडिया ने न्यूज़ीलैंड को महज़ 230 रनों पर रोक दिया. पुणे के महाराष्ट्र क्रिकेट एसोसीएशन स्टेडियम में खेले जा रहे वनडे मुकाबले में न्यूज़ीलैंड की बल्लेबाज़ी की धार फींकी नज़र आई और पूरी टीम ताश के पत्तों की तरह एक के बाद एक बिखरती चली गई.


टॉस जीतकर पहले बल्लेबाज़ी करने उतरी मेहमान टीम की शुरूआत एक बार फिर से खराब रही. ओपनर बल्लेबाज़ मार्टिन गुप्टिल एक बार फिर से अपना जलवा दिखाने में नाकामयाब रहे. पारी के तीसरे ओवर में ही भुवनेश्वर कुमार की बेहतरीन गेंद पर गुप्टिल विकेटों के पीछे धोनी के सुरक्षित हाथों में कैच थमाकर लौट गए. गुप्टिल बल्ले से महज़ 11 रनों का योगदान ही दे सके.


गुप्टिल के विकेट के बाद कप्तान विलियमसन एक बार फिर से सीरीज़ में बेरूखे नज़र आए. वो महज़ 3 रन के योग पर बुमराह की गेंद पर डीआरएस वेस्ट कर वापस पवेलियन लौट गए. विलियमसन को बुमराह ने एलबीडबल्यू आउट किया.


कप्तान विकेट के बाद कॉलिन मुनरो ने भी तू चल मैं आया वाली नीती अपनाई और महज़ 10 रन के स्कोर पर भुवनेश्वर कुमार की लाजवाब गेंद पर क्लीन बोल्ड हो गए.


ऊपर के तीनों विकेट गिरने के बाद एक बार फिर से मैच में पहले वनडे वाली परिस्थिती बन गई जब क्रीज़ पर अनुभवी रॉस टेलक और शतकवीर टॉम लेथम मौजूद थे. इन दोनों बल्लेबाज़ों ने कुछ संभलकर पारी को आगे बड़ाते हुए टीम के स्कोर को 50 रनों के पार पहुंचाया. लेकिन इस साझेदारी के और मजबूत होने से पहले ही पांड्या ने रॉस टेलर को 21 रन के स्कोर पर धोनी के हाथों कैच आउट करवा दिया.


जल्दी-जल्दी 4 विकेट गंवाने के बाद टॉम लेथम ने एक छोर संभाले रखा और हेनरी निकल्स के साथ टीम को 100 रनों के पार पहुंचाया. लेकिन एक बार फिर से अच्छी बल्लेबाज़ी कर रहे टॉम लेथम कुछ बड़ा कर पाते उससे पहले ही अक्षर पटेल ने उन्हें बोल्ड कर मैच में भारत की वापसी करवा दी.


लेथम के विकेट के बाद न्यूज़ीलैंड की टीम को बल्लेबाज़ों का छोटा-छोटा योगदान तो मिला लेकिन कोई भी अपनी पारी को बड़े स्कोर में तब्दील नहीं कर पाया. जबकि भारतीय गेंदबाज़ों ने निरंतर अंतराल विकेट चटकाकर विरोधी टीम को एक बड़ा लक्ष्य बनाने से रोके रखा.


लेथम के विकेट के बाद निकल्स ने कॉलिम डी ग्रैंडहोम के साथ मिलकर टीम को 150 रनों के पार पहुंचाया. लेकिन 165 रन के कुल स्कोर पर भुवनेश्वर कुमार ने निकल्स को भी आउटकर टीम इंडिया की राह का सबसे बड़ा रोढ़ा निकाल दिया. वनडे क्रिकेट में ये पहली बार हुआ जब भुवनेश्वर ने किसी एक मैच में दो बल्लेबाज़ों को बोल्ड किया हो.


इसके बाद 43वें ओवर में युजवेंद्र चहल ने डी ग्रैंडहोम और एडम मिल्ने को आउटकर न्यूज़ीलैंड की बड़े स्कोर की उम्मीद को पूरी तरह से नष्ट कर दिया.


अंत में न्यूज़ीलैंड की टीम टिम साउदी की नाबाद 25 रनों की पारी की मदद से 50 ओवरों में कुल 230/9 रन बनाने में सफल रही.


भारत के लिए भुवनेश्वर कुमार ने 3, बुमराहग-चहल ने 2-2, जबकि अक्षर और पांड्या ने 1-1 विकेट चटकाया.