क्या पाक तेज गेंदबाज मोहम्मद आमिर IPL में खेलते आएंगे नजर?, क्रिकेटर ने बताया अपना खास प्लान
उनके संन्यास के बाद अलग-अलग तरह की प्रतिक्रियाएं सामने आई. तब से यह तेज गेंदबाज अपने परिवार के साथ यूनाइटेड किंगडम में रह रहा है.
पाकिस्तान के तेज गेंदबाज मोहम्मद आमिर ने पिछले साल 28 साल की उम्र में अचानक क्रिकेट से संन्यास की घोषणा की. उनके इस फैसले से क्रिकेट फैन्स को बड़ा झटका लगा. उनके संन्यास के बाद अलग-अलग तरह की प्रतिक्रियाएं सामने आई. तब से यह तेज गेंदबाज अपने परिवार के साथ यूनाइटेड किंगडम में रह रहा है. अमीर ने पिछले साल पाकिस्तान प्रबंधन पर कुछ गंभीर आरोप लगाए थे, जिस कारण उन्होंने क्रिकेट को अलविदा कहा था. उन्होंने बाद में कहा था कि मौजूदा प्रबंधन में बदलाव के बाद वह उपलब्ध होंगे.
इस बीच, वह पिछले कुछ महीनों में कई टी-20 फ्रैंचाइज़ी-आधारित लीगों का हिस्सा रहे हैं. पाक पेशन के साथ हाल ही में हुई बातचीत में गेंदबाज ने ब्रिटिश नागरिकता प्राप्त करने और आईपीएल में खेलने की अपनी योजनाओं को लेकर बात करने के साथ ही उन्होंने पाकिस्तान क्रिकेट में विभिन्न चीजों पर अपनी राय साझा की. मोहम्मद आमिर ने कहा कि फिलहाल मैं अभी लंबे समय तक इंग्लैंड में रहने वाला हूं. मैं इन दिनों अपने क्रिकेट का आनंद ले रहा हूं और अगले 6 या 7 वर्षों तक खेलने की प्लानिंग बना रहा हूं. देखते हैं भविष्य में चीजें कैसे आगे बढ़ती हैं. मेरे बच्चे इंग्लैंड में बड़े होंगे और यहीं अपनी शिक्षा प्राप्त करेंगे, इसलिए इसमें कोई संदेह नहीं है कि मैं यहां लंबा समय बिताऊंगा.
बता दें कि बीसीसीआई पाकिस्तान के खिलाड़ियों को दूसरे आईपीएल सीजन के बाद से भाग लेने की अनुमति नहीं देता है. पाकिस्तान के पूर्व हरफनमौला अजहर महमूद एकमात्र ऐसे खिलाड़ी रहे हैं जिन्हें बाद में खेलने का मौका मिला. अजहर महमूद ने खुद को इंग्लिश प्लेयर के रूप में स्थापित करा लिया था और वह पंजाब किंग्स और कोलकाता नाइट राइडर्स के लिए खेलते दिखाई दिये.
ब्रिटिश नागरिकता प्राप्त करने की अपनी योजनाओं के बारे में आगे बोलते हुए आमिर ने कहा कि इस समय, मैं वास्तव में उपलब्ध अन्य संभावनाओं और अवसरों के बारे में नहीं सोचा रहा हूं. एक बार जब मुझे यहां की नागरिकता मिल जाएगी तो चीजें बदल जाएंगी.
उन्होंने कहा कि आप जिस देश से खेलते हैं उससे संन्यास लेने का फैसला आसान नहीं होता है. मैंने इस फैसले के बारे में बहुत सोचा, मैंने अपने करीबी लोगों से बात की और उसके बाद ही मैं इस फैसले पर पहुंचा. मुझे उम्मीद है कि हमारे खिलाड़ियों, विशेषकर युवाओं को भविष्य में वह नहीं करना पड़ेगा जो मुझे झेलना पड़ा. क्योंकि मैं नहीं चाहता कि हमारे युवा खिलाड़ी निराश हो जाएं और जैसे मुझे अपने करियर का त्याग करना पड़ा, वैसा उन्हें करना पड़े.