हर कप्तान का एक पसंदीदा खिलाड़ी होता है, धोनी को रैना पसंद थे: युवराज
युवराज सिंह ने कहा है कि सुरेश रैना ऐसे खिलाड़ी थे जिनका भारतीय क्रिकेट टीम के कप्तान के रूप में महेंद्र सिंह धोनी ने काफी समर्थन किया.
नई दिल्ली: पूर्व भारतीय क्रिकेटर युवराज सिंह ने साल 2007 टी20 वर्ल्ड कप और 2011 वर्ल्ड कप में अहम योगदान निभाया था जिससे टीम इंडिया चैंपियन बनी. लेकिन ब्रॉड को 6 छक्के मारने के बाद और साल 2011 वर्ल्ड कप में ऑस्ट्रेलिया के खिलाफ अहम पारी खेलने के बाद उनके फॉर्म पर सवाल उठते रहे. युवराज ने डरबन के मैदान पर 12 गेंदों में अर्धशतक मार दिया था जो अभी तक टी20 में सबसे तेज अर्धशतक है.
वहीं ऑस्ट्रेलिया के खिलाफ नॉकाउट मैच में 30 गेंदों में 70 रन खेलकर युवराज ने टीम को फाइनल में पहुंचा दिया. युवराज ने एक इंटरव्यू में कहा है कि उस दौरान एडम गिलक्रिस्ट ने भी युवराज का बल्ला मांगा था.
ऑस्ट्रेलियाई कोच ने इसके बाद मेरा बल्लेबा मांगा और पूछा तूमने फाइबर लगाया है क्या? इसके बाद मैच रेफरी ने भी चेक किया और फिर गिलक्रिस्ट ने कहा कि तुम किससे बल्ले बनवाते हो?
युवराज ने धोनी के साथ मिलकर टीम इंडिया को साल 2011 वर्ल्ड कप में चैंपियन बनाया लेकिन अब युवराज ने धोनी को लेकर बड़ी बात कही है. युवराज सिंह ने कहा है कि सुरेश रैना ऐसे खिलाड़ी थे जिनका भारतीय क्रिकेट टीम के कप्तान के रूप में महेंद्र सिंह धोनी ने काफी समर्थन किया. रैना और युवराज दोनों 2011 विश्व कप जीतने वाली टीम का हिस्सा थे.
युवराज ने विश्व कप-2011 के फाइनल से पहले रैना और यूसुफ पठान के बीचे में किसी एक को चुनने की असमंजस को लेकर बात की. युवराज ने स्पोर्ट्स तक से बातचीत में कहा, "रैना को उस समय ज्यादा समर्थन मिलता था क्योंकि धोनी उनके साथ थे. हर कप्तान के अपने पसंदीदा खिलाड़ी होते हैं और मुझे लगता है कि माही ने रैना का उस समय साथ दिया था."
उन्होंने कहा, "यूसुफ उस समय शानदार खेल रहे थे. मैं भी अच्छा कर रहा था और विकेट भी ले रहा था, रैना हालांकि अच्छी फॉर्म में नहीं थे. टीम के पास उस समय बाएं हाथ का स्पिनर नहीं था और मैं उस समय विकेट भी ले रहा था, इसलिए उनके पास विकल्प नहीं था." जब तक धोनी कप्तान रहे रैना टीम के नियमित सदस्य रहे. रैना ने अपना आखिरी वनडे 2018 में इंग्लैंड के खिलाफ खेला था.