हसीन जहां की बड़ी बेटी ने कहा, 'मेरी मां बहुत अच्छी लड़की थी और बहुत हिम्मतवाली थी, जिंदगी में हमेशा कुछ करने की कोशिश करती थी. वो पढ़ाई और स्पोर्ट्स में भी बहुत अच्छी थी.'
हसीन की बेटी ने अपनी मां के दर्द को समझते हुए ये भी कहा, 'मम्मी के बारे में खास बात ये है कि वो अपने पैरों पर खड़ा होना चाहती थी. अपना फेम तैयार करना चाहती थी. पहचान बनाने की कोशिश कर रही थी. अपनी जिंदगी में बहुत संघर्ष किया है, मम्मा बहुत हिम्मतवाली हैं अभी भी बाहर से वो बहुत हिम्मतवाली लग रही हैं मगर मैं समझ सकती हूं कि मम्मा अभी अंदर से बहुत दुखी हैं.'
एबीपी न्यूज़ ने जब उनसे पूछा कि आप बड़ी होकर अपनी मम्मा की तरह मॉडल या हीरोइन क्यों नहीं बनना चाहती तो उन्होंने कहा, 'मॉडल या फिल्म इंडस्ट्री ऐसी चीज है जो हर किसी के किस्मत में नहीं होती है. मॉडलिंग सब करना चाहते हैं तो अगर मुझे मिला तो अच्छी बात है नहीं मिला तो मुझे भी तो अपने पैरों पर खड़ा होना है ना. इसलिए डॉक्टर बनना चाहती हूं मैं.'
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हालांकि हसीन की बड़ी बेटी की नज़र में मोहम्मद शमी बेहद अच्छे इंसान और पिता हैं. उन्होंने शमी पर कहा कि 'वो हमें अपनी बेटी की तरह ही प्यार करते थे. हमें एहसास कराते थे के वो हमारे पापा हैं या हम उनकी बेटियां हैं. उन्होंने हमें भी अपने परिवार का हिस्सा बनाया.'
खुशबू ने ये भी बताया कि 'शमी हमसे बहुत प्यार करते थे, वो हर साल ईद पर या किसी भी त्योहार पर कपड़े या खरीददारी करवाते थे. साथ ही स्कूल से छुट्टी मिलने पर घुमाने भी लेकर जाते थे.'
खुशबू ने ये भी कहा कि 'मैं नहीं चाहती पापा का करियर खराब हो जाए क्योंकि पापा उस पद तक बहुत मुश्किल से गए हैं. मम्मा भी कोशिश कर रही है पापा से मिलने की ये सब सुलझाने की. लेकिन मुझे नहीं पता आगे क्या होगा.'
आखिर में हसीन की बेटी ने ये उम्मीद जताई कि ये जो कुछ भी हो रहा है वो खत्म हो जाए और वो दोनों फिर से एक हो जाएं और होली के दिन जैसी खुशी फिर से वापस आ जाए.
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हसीन जहां ने बीते दिन ही प्रेस कॉंफ्रेंस कर ये कहा था कि शमी अब भी चाहते हैं कि घर बचे तो वो भी सहयोग करने के लिए तैयार हो सकती हैं. इसके बाद मोहम्मद शमी ने भी मीडिया के सामने आकर कहा था, 'अगर ये मुद्दा बातचीत से हल हो जाए, तो इससे बेहतर कुछ नहीं हो सकता. आपसी तालमेल से इस मुद्दे को सुलझाना ही हम दोनों और हमारी बेटी के लिए सही रहेगा.'